बिहार की इस लोकसभा सीट पर आज तक नहीं चुनी गईं महिला सांसद, जिले से निकले हैं 3 मुख्यमंत्री
Bihar Gopalganj Lok Sabha Seat: बिहार में लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर राजनीतिक सरगर्मियां तेज हैं। अटकलों के बाद यहां राजद ने महागठबंधन के तहत 3 सीटें गोपालगंज, झंझारपुर और मोतिहारी मुकेश सहनी की विकासशील इंसान पार्टी (VIP) पार्टी को दे दी हैं। इनमें गोपालगंज सबसे हॉट सीट है।
जिले ने दिए बिहार को तीन सीएम
दरअसल, गोपालगंज जिले ने बिहार को 3 मुख्यमंत्री दिए हैं। पूर्व मुख्यमंत्री अब्दुल गफूर गोपालगंज के ही रहने वाले थे। पूर्व सीएम लालू प्रसाद यादव गोपालगंज के फुलवरिया के रहने वाले हैं। इसके अलावा लालू यादव की पत्नी और बिहार की पूर्व सीएम राबड़ी देवी का मायका यहां गोपालगंज के सलार गांव में है।
मिली जानकारी के अनुसार, अब तक इस सीट पर 17 लोकसभा चुनाव हो चुके हैं, पर आज तक यहां से कोई महिला सांसद चुनाव जीतकर लोकसभा नहीं पहुंच पाई है।
यह है सीट का इतिहास
साल 1952 में यह सीट अस्तित्व में आई थी। पहली बार सैयद महमूद यहां से कांग्रेस की टिकट से चुनाव जीते थे। 1957 में भी सैयद महमूद यहां से सांसद चुने गए थे। इसके बाद 1971 तक लगातार यह सीट कांग्रेस पार्टी के पास रही। 1977 में जनता पार्टी की टिकट पर द्वारिका नाथ तिवारी यहां से सांसद बने थे। इसके बाद अलग-अलग चुनाव में इस सीट पर समता पार्टी, निर्दलीय, जनता दल यूनाइटेड और बीजेपी पार्टी से सांसद चुने गए हैं।
286424 वोटों से दर्ज की थी जीत
साल 2019 में एनडीए के खाते से इस सीट पर जेडीयू के डॉ. आलोक कुमार सुमन ने आरजेडी के सुरेंद्र राम उर्फ महान को 2,86,424 वोटों से हराया था। 2014 में बीजेपी ने इस सीट पर अकेले चुनाव लड़ा था और यहां से पार्टी के जनक राम चुनाव जीतकर लोकसभा पहुंचे। 2009 में यहां से जेडीयू के पूर्णमासी राम ने चुनाव जीता था।
मिली जानकारी के अनुसार, गोपालगंज लोकसभा सीट के अंतर्गत कुचायकोट, बैकुंठपुर, बरौली, गोपालगंज, हथुआ और भोरे 6 विधानसभा सीटें आती हैं। इस बार एनडीए ने डॉ. आलोक कुमार सुमन को अपना प्रत्याशी चुना है। जल्द ही वीआईपी पार्टी के मुकेश सहनी यहां से अपने उम्मीदवार के नाम का ऐलान करेंगे।
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