ग्रेटर नोएडा में 7 साल पहले खरीदे थे फ्लैट, अभी तक पजेशन नहीं, खरीदारों ने CM Yogi से मांगा न्याय
Greater Noida Home Buyers Scam: इस महंगाई के दौर में अपना घर बनाना किसी सपने से कम नहीं। खुद का घर खरीदने में एक आम आदमी की पूरी जिंदगी लग जाती है। हाल ही में, ऐसा किस्सा सामने आया जहां ग्रेटर नोएडा में लोगों को फ्लैट खरीदने के 7 साल बाद भी फ्लैट नहीं मिला। जिस वजह से वह धरने पर उतर गए।
दरअसल, घर खरीदारों द्वारा दावा किया गया कि उन्हें 2019 में उनका फ्लैट मिलना था लेकिन डेवलपर ने उससे अगले साल यानी 2018 में फ्लैट बनाना बंद कर दिया और तब से डेवलपर ने इस परियोजना पर काम ही नहीं किया।
उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ को लिखा पत्र
यह मामला ग्रेटर नोएडा सेक्टर 27 में हेमिस्फेयर हाउसिंग प्रोजेक्ट में अपना अपना पैसा इन्वेस्ट करने वाले लोगों का है। उन्हें अपना घर पाने में 7 साल की देरी हो चुकी है, जिस वजह से भड़के घर खरीदार विरोध प्रदर्शन पर उतर आए हैं। घर बनने का काम कब पूरा होगा, यह किसी को नहीं पता है। ऐसे में विरोध पर उतरे घर खरीदारों में से एक व्यक्ति ने बताया कि इसे लेकर उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ को भी पत्र भेजा गया है और इसमें उनके हस्तक्षेप की मांग भी की गई है।
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किस फर्म ने शुरू किया था प्रोजेक्ट?
आपको बता दें कि रियल एस्टेट फर्म रॉयलगोल्फ लिंक सिटी प्रोजेक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड द्वारा यह प्रोजेक्ट 2015-16 में शुरू किया गया था और यह 100 एकड़ में फैला हाउसिंग प्रोजेक्ट है। इसके अंतर्गत साढ़े तीन साल में खरीदारों को घर देने का वादा किया गया था। हाउसिंग प्रोजेक्ट में 14 टॉवरों और 250 विला में करीब 450 फ्लैट (2 BHK और 3 BHK) होने चाहिए थे जिन्हें तीन स्टेज में बांटा जाना था। ऐसे में, अभी तक टावरों के खंबे और दीवारें ही बन पाई हैं और कई साल से यह प्रोजेक्ट ऐसे ही पड़ा है। ऐसा दावा घर खरीदारों का द्वारा किया गया है।
एसके श्रीवास्तव नाम के एक घर खरीदार ने बताया कि उन्हें 2019 में उन्हें फ्लैट मिलने थे लेकिन डेवलपर ने 2018 में ही निर्माण कार्य बंद कर दिया और 2018 के बाद से, डेवलपर ने वहां काम ही नहीं किया। न्याय की मांग करते हुए उन्होंने और बाकी खरीदारों ने आर्थिक अपराध शाखा, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण और उत्तर प्रदेश रियल एस्टेट नियामक प्राधिकरण समेत एजेंसियों के पास शिकायत दर्ज करवाई है। फिर भी, अभी तक कुछ नहीं हो पाया है और किसी भी सरकारी एजेंसी ने उनकी परेशानियों को दूर करने के लिए कोई उपाय नहीं निकाला।
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बार-बार कॉल करने पर भी नहीं आया जवाब
इस पूरे मामले को लेकर टिप्पणी मांगने के लिए बार-बार कॉल और मैसेज करने के बावजूद रॉयलगोल्फ लिंक सिटी प्रोजेक्ट्स के प्रमोटर ने इसका जवाब नहीं दिया। घर खरीदारों ने ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी एडिशनल चीफ एग्जीक्यूटिव अफसर आशुतोष कुमार द्विवेदी से भी मुलाकात की और प्राधिकरण से उनके मुद्दों पर गौर करने का आग्रह किया।
“प्राधिकरण ने आवंटन कैंसिल कर दिया क्योंकि डेवलपर परियोजना के खिलाफ वित्तीय बकाया चुका नहीं पाया। हम सही एक्शन के लिए इन मुद्दों पर गौर कर रहे हैं, 'द्विवेदी ने कहा।
लगभग 100 खरीदार साइट पर एकत्र हुए और परियोजना में देरी के लिए डेवलपर के खिलाफ नारे लगाए। लोगों ने न्याय की मांग के लिए आर्थिक अपराध शाखा, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण और उत्तर प्रदेश रियाल एस्टेट नियामक प्राधिकरण समेत जुड़ी हुई एजेंसियों के पास भी शिकायत दर्ज करवाई। फिर भी अभी तक कुछ नहीं हो पाया।