'जंगल बचेगा तो आजीविका के साधन बढ़ेंगे', जानिए छत्तीसगढ़ मंत्री नेताम ने ऐसा क्यों कहा
Chhattisgarh Minister Ram Vichar Netam: छत्तीसगढ़ में विष्णुदेव साय की सरकार द्वारा प्रदेश के विकास के लिए हर मुम्मकिन आयाम तलाशे जा रहे हैं। राज्य सरकार प्रदेश के युवाओं के लिए रोजगार और अजीविका के नए द्वार खोलने पर काम कर रही है। इसी सिलसिले में प्रदेश के आदिम जाति विकास मंत्री राम विचार नेताम नवा रायपुर में आयोजित दो दिवसीय कार्यशाला के समापन सत्र पहुंचे। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि जंगल बचेगा तो युवाओं के लिए आजीविका के साधन भी बढ़ेगा।
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मंत्री नेताम का संबोधन
अपने संबोधन में मंत्री राम विचार नेताम ने कहा कि छत्तीसगढ़ के बस्तर और सरगुजा के बहुतायत आदिवासियों का जीवन वन संसाधन पर आश्रित हैं। यदि जंगल नहीं बचेगा तो हमारे आजीविका के साधन भी कम हो जाएगा। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि जंगल बचेगा तभी आजीविका के साधन बढ़ेंगे। हम सभी को निष्ठा के साथ जंगलों का संरक्षण करना चाहिए, क्योंकि वन की सुरक्षा हमारा अधिकार ही नहीं कर्तव्य भी है।
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'जंगलों की रक्षा करना है हमारा कर्तव्य'
इसके साथ ही मंत्री नेताम ने कहा कि प्रदेश के हर एक व्यक्ति को चाहिए कि वह व्यक्तिगत और सामुदायिक सभी तरीकों से जंगलों की रक्षा करनी चाहिए। मंत्री नेताम ने आगे कहा कि वन संसाधन अधिकार प्राप्त ग्राम सभाओं को आने वाले एक साल के अंदर बेहतर तरीके से क्रियाशील किया जाए। वह खुद वीडियो कान्फ्रेंसिंग के जरिए प्रदेश के सभी FRA प्रतिनिधियों से बात करेंगे। इस दौरान मंत्री नेताम उनकी समस्याएं सुनेंगे और उसका समाधन ढूंढा जाएगा। इतना ही नहीं मंत्री नेताम ने यह भी कहा कि कुछ लोग भोले-भाले आदिवासियों को गुमराह कर विकास के काम में बाधा डालते है।