जनता को केंद्र सरकार का तोहफा, छत्तीसगढ़ के इन शहरों में चलेंगी इलेक्ट्रिक बस
PM E Bus Scheme Chhattisgarh: छत्तीसगढ़ में जनता की सहूलियत के लिए सरकार कई तरह की सुविधाएं देने में लगी हुई है। अक्सर राज्य की सार्वजानिक बसों में इतनी भीड़ होती है कि आने-जाने के लिए जनता को बिना सीट के ही यानी खड़े होकर पूरा सफर तय करना पड़ता है। इस वजह से जनता की परेशानी को दूर करने के लिए केंद्र सरकार द्वारा सार्वजानिक परिवहन के ढांचे को और अच्छा करने पर काम करना शुरू कर दिया है। केंद्र सरकार ने पीएम ई-बस सेवा योजना शुरू की है, जिसके अंतर्गत राज्यों के शहरों में जनसंख्या के आधार पर बसों की संख्या निर्धारित की गई है।
छत्तीसगढ़ के किस शहर के लिए कितनी बस निर्धारित की गईं?
पीएम ई-बस सेवा योजना के मुताबिक, रायपुर को 100, दुर्ग-भिलाई को 50, बिलासपुर को 50 और कोरबा को 40 ई-बस यानी इलेक्ट्रिक बस दी जाएंगी। इस तरह राज्य की जनता को कुल मिलाकर 240 ई-बसों की स्वीकृति प्राप्त हुई है।
भारत सरकार द्वारा पीएम ई-बस सेवा योजना के तहत छत्तीसगढ़ के चार प्रमुख शहरों दुर्ग-भिलाई, रायपुर, कोरबा और बिलासपुर को इलेक्ट्रिक बसों के संचालन की मंजूरी दी गई है।
क्या बोले छत्तीसगढ़ के सीएम विष्णु देव साय?
राज्य के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने इस मौके पर कहा कि छत्तीसगढ़ में इलेक्ट्रिक बसों का संचालन शुरू करने से शहरी परिवहन में क्रांति आएगी। यह पहल पर्यावरण बचाने के साथ-साथ जनता को अच्छी-से-अच्छी परिवहन सुविधाएं देने की दिशा में एक कदम आगे ले जाती है।
विष्णु देव साय ने नगरीय प्रशासन विभाग के अधिकारियों को इस चैलेंज में सफलता पाने पर बधाई दी और भविष्य में बाकी शहरों को भी इस योजना में जोड़ने के लिए प्रयास करने के निर्देश दिए। इस मौके पर उप मुख्यमंत्री और नगरीय प्रशासन मंत्री अरुण साव ने कहा कि डबल इंजन की सरकार की बदौलत ही हम नवाचार और स्थिरता की नै उचाईयों को छू रहे हैं। यह योजना जनता के लिए एक गिफ्ट है, जो न सिर्फ पर्यावरण को बचाएगा बल्कि व्यक्ति के जीवन को भी सुगम बनाएगा।
उन्होंने आगे कहा कि इलेक्ट्रिक बसों के आने से छत्तीसगढ़ की जनता के लिए एक नए और स्वच्छ परिवहन का रास्ता खुलेगा। इन बसों की शुरुआत से पर्यावरण में प्रदूषण की कमी आएगी और शहरों की वायु गुणवत्ता में सुधार होगा। इसके साथ-साथ ऊर्जा की भी बचत होगी।
किस तरह निर्धारित की गई बसों की संख्या?
शहरों की जनसंख्या के आधार पर उन्हें चार श्रेणियों में बांटा गया है। बीस से चालीस लाख तक की आबादी वाले शहरों को 150, दस से बीस लाख की आबादी वाले शहरों को 100, पांच से सात लाख तक की जनसंख्या वाले शहरों को 100 और पांच लाख से कम जनसंख्या वाले शहरों को 50 ई-बसों की पात्रता थी। इसके आधार पर रायपुर को 100 मध्यम ई-बस, बिलासपुर को 35 मध्यम ई-बस और 15 मिनी ई-बस, दुर्ग-भिलाई को 50 मध्यम ई-बस और आखिर में कोरबा को 20 मीडियम और 20 मिनी ई-बस मिलने पर मोहर लगी है।
इस योजना में केंद्र सरकार शहरों को बसों की खरीदारी और उन्हें चलाने के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करेगी। इसमें बड़ा हिस्सा शहरों में बस डिपो के इंफ्रास्ट्रक्चर को सही करने के लिए भी खर्च किया जाएगा।