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तांबे के बर्तन में भूलकर भी न रखें 5 चीजें, पानी भी बन सकता है 'जहर'

Copper water may harm: आयुर्वेद के अनुसार तांबे के बर्तन में पानी पीने को बहुत फायदेमंद माना गया है। मान्यता है कि इसमें रखा पानी पीने से पेट से जुड़ी समस्याओं से छुटकारा मिलता है। मगर, क्या आप जानते हैं कि तांबे के बर्तन में रखा पानी नुकसान भी पहुंचा सकता है, जानिए कैसे।
09:15 PM Mar 16, 2024 IST | Deeksha Priyadarshi
copper bottle
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Copper water may harm: भारत में पुराने समय से तांबे के बर्तन में पानी पीना बहुत अच्छा माना गया है। कहा जाता है कि इससे पेट से जुड़ी परेशानियों से छुटकारा मिलता है। इससे इम्यूनिटी स्ट्रॉन्ग होती है और पाचन तंत्र भी मजबूत होता है। मगर क्या आप जानते हैं कि तांबे के बर्तन में पानी पीने के भी कुछ जरूरी नियम होते हैं, जिसे फॉलो करना जरूरी होता है। तांबे के बर्तन में  पानी अधिक देर तक रखने से ये शरीर को नुकसान पहुंचा सकता है। आंतों में सूजन की परेशानी है तो कॉपर के बर्तन में रखा पानी पीने से बचें।तांबे के बर्तन से जुड़ी ऐसी ही कुछ और गलतियां हैं, जिससे हमें नुकसान पहुंच सकता है। ऐसे में जानिए ताबें के बर्तन को इस्तेमाल करने से जुड़े कुछ जरूरी टिप्स।

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11 से 12 घंटे से अधिक देर तक रखा पानी ना पीएं

अगर तांबे के बर्तन में पानी रखकर पीते हैं तो इस बात का खास ध्यान रखें कि वो पानी कितनी जरूरी है। अगर पानी 11 से 12 घंटे से अधिक देर तक तांबे के बर्तन में रहता है और आप उस पी लेते हैं तो आपकी तबीयत खराब हो सकती है। इसके कारण शरीर में कॉपर की मात्रा बढ़ने की संभावना रहती है। अगर शरीर में कॉपर की मात्रा बढ़ती है तो पेट दर्द, चक्कर आना, मतली आना, उल्टी जैसी समस्या हो सकती है। अगर लगातार ऐसा करते हैं तो आंत में सूजन और किडनी पर असर पड़ने की भी संभावना रहती है।

तांबे के बर्तन में खट्टा रखने से बन सकता है जहर

तांबे के बर्तन में अगर कोई खट्टी चीज डाल देते हैं तो ये सेहत पर बुरा असर कर सकती है। तांबे के बर्तन में सिट्रिक जूस, आचार, नींबू पानी, छाछ या दही जैसी चीजें रख देते हैं तो ये उसके साथ रिएक्ट कर के जहर जैसा बन जाता है।  अगर सुबह खाली पेट नींबू शहद मिलाकर तांबे के बर्तन में पिया जाए तो ये जहर जैसा हो सकता है।

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एसिडिटी की समस्या है तो तांबे के बर्तन में पानी ना पीएं

तांबे के बर्तन में रखा पानी कॉपर से रिएक्ट करने के कारण चार्ज हो जाता है। यही वजह है कि इसमें रखे पानी की तासीर गर्म होती है। इसलिए कई हेल्थ एक्सपर्ट्स की सलाह होती है कि अगर आपको एसिडिटी की परेशानी है तो तांबे के बर्तन में रखा पानी अवाइड करें।

हार्ट के मरीज हैं तो डॉक्टर से पूछ कर पीएं तांबे के बर्तन में रखा पानी

सभी के शरीर में कॉपर की जरूरत अलग-अलग मात्रा में होती है। रिसर्च की मानें तो 19 साल से अधिक उम्र के लोगों तो महज 0.90 मिलीग्राम कॉपर की जरूरत होती है। ज्यादा कॉपर लेने से हार्ट से जुड़ी परेशानी हो सकती है। ऐसे में अगर आप हार्ट के मरीज हैं तो डॉक्टर से पूछकर तांबे के बर्तन में रखा पानी पीएं।

सही रखरखाव है जरूरी

अगर तांबे के बर्तन का इस्तेमाल करते हैं या इसमें रखा पानी पीते हैं तो हर 15 दिन में इसे एक बार रेत, नींबू या नमक से साफ करें। रोजाना आप इसे पानी से खंगाल कर भी इस्तेमाल कर सकते हैं।

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