होमखेलवीडियोधर्म मनोरंजन..गैजेट्सदेश
प्रदेश | हिमाचलहरियाणाराजस्थानमुंबईमध्य प्रदेशबिहारदिल्लीपंजाबझारखंडछत्तीसगढ़गुजरातउत्तर प्रदेश / उत्तराखंड
ज्योतिषऑटोट्रेंडिंगदुनियावेब स्टोरीजबिजनेसहेल्थExplainerFact CheckOpinionनॉलेजनौकरीभारत एक सोचलाइफस्टाइलशिक्षासाइंस
Advertisement

60 सेकंड में 1000 राउंड फायर...भारतीय मशीन गन क्यों बनी यूरोप की पहली पसंद? मिला 225 करोड़ का ऑर्डर

India Made Medium Machine Machine Gun: भारत में बनी मशीन गन यूरोप में काफी पसंद की जा रही है। इसके लिए देश को 225 करोड़ का ऑर्डर मिल चुका है। आइए इस मशीन गन की खासियतें जानते हैं, ताकि पता चले कि क्यों यह मशीन गन विदेशी सेनाओं द्वारा पसंद की जा रही है?
01:14 PM Dec 29, 2024 IST | Khushbu Goyal
Medium Machine Gun
Advertisement

India Made Machine Gun Qualities: यूं तो भारत ने विदेशों से कई तरह के आधुनिक, रोबोटिक और टेक्नोलॉजी से लैस हथियार मंगाकर अपनी ताकत को पहले से कई गुना ज्यादा मजबूत कर लिया है, लेकिन भारत में भी हथियार बनाए जाते हैं और भारत में बनी मीडियम मशीन गन (MMG) गेम-चेंजर साबित हो रही है। मेक इन इंडिया को बढ़ावा देते हुए मोदी सरकार ने उत्तर प्रदेश के कानपुर में यह मशीन गन बनवाई, जिसकी मांग यूरोप में बढ़ रही है।

Advertisement

स्मॉल आर्म्स फैक्ट्री में बनी यह मशीन गन अपनी खूबियों के कारण दुनियाभर में लोकप्रिय है। यह नई टेक्नोलॉजी वाली मशीन गन जमीनी स्तर पर युद्ध लड़ने में कारगर हथियार साबित होती है। सैनिकों के बीच आमने-सामने की लड़ाई में यह मीडियम मशीन गन गेम-चेंजर साबित हो सकती है, क्योंकि इसमें प्रति मिनट 1000 गोलियां दागने की क्षमता है। यह मशीन गन पलक झपकते ही एक साथ कई दुश्मनों को ढेर करने में सक्षम है।

यह भी पढ़ें:Plane Crash: 179 मौतों का जिम्मेदार कौन; जानें साउथ कोरिया में क्यों हुआ विमान हादसा?

मशीन गन की विशेषताएं...

इंडिया डॉट कॉ की रिपोर्ट के अनुसार, मशीन गन का वजन 11 किलोग्राम है। इसके बैरल का वजन 3 किलोग्राम है। यह प्रति मिनट 1000 राउंड फायर कर सकती है। यह 1.8 किलोमीटर या 1800 मीटर दूर खड़े दुश्मनों को खत्म कर सकती है। इस मशीन गन की लंबाई 1255 मिलीमीटर है। यह दुश्मनों पर सटीक निशाना लगाने में सक्षम है। इस मशीनगन का कैलिबर 7.62 x 51 मिलीमीटर है। अपनी इन्हीं खूबियों के कारण यह मशीनगन कई सेनाओं की पहली पसंद बनी हुई है।

Advertisement

225 करोड़ का ऑर्डर मिला

रिपोर्ट के अनुसार, साल 2024 में इस मशीन गन के लिए अब तक का सबसे बड़ा ऑर्डर मिला है। दिसंबर 2023 में ऑर्डर साइस हुआ था और अभी तक मशीन गन का प्रोडक्शन चल रहा है। जल्दी ही डिलीवरी दे दी जाएगी। इस साल मशीन गन के लिए 225 करोड़ रुपये का ऑर्डर मिला है। पिछले साल यही ऑर्डर 190 करोड़ रुपये का था।

यह भी पढ़ें:एक और विमान हादसा! लैडिंग करते समय लगी भीषण आग, 80 लोग लेकर कनाडा आई थी फ्लाइट

साल 2024 इंडियन डेफेंस के लिए गेम चेंजर

रिपोर्ट के अनुसार, साल 2024 भारतीय सेना के लिए गेम चेंजर साबित हुआ है। भारतीय सेना और डेफेंस टेक्नोलॉजी के लिए यह साल बेहद महत्वपूर्ण और अचीवमेंट से भरा रहा। DRDO, HAL ने देश के डेफेंस सेक्टर को आत्मनिर्भर बनाने के लिए ठोस कदम उठाए। इस साल DRDO ने अपने मिशन दिव्यास्त्र अग्नि-5 ICBM का MIRV (मल्टीपल इंडिपेंडेंटली टार्गेटेबल री-एंट्री व्हीकल) का टेस्ट किया। भारतीय वायुसेवा के लिए बने तेजस मार्क-1ए लड़ाकू विमान का टेस्ट किया।

DRDO द्वारा बनाई गई अग्नि-प्राइम मिसाइल का परीक्षण किया गया। भारत को 35 हजार AK-203 राइफल का बैच मिला। जोरावर लाइट बैटल टैंक को भारतीय सेना में शामिल किया गया है। DRDO ने MPATGM (मैन-पोर्टेबल एंटी-टैंक गाइडेड मिसाइल) का टेस्ट किया गया। भारत में बनी पनडुब्बी INS अरिघाट इंडियन नेवी में शामिल हुई। VSHORADS मिसाइल का परीक्षण किया गया। स्टील्थ UCAV ड्रोन भारत में बनाए जाने लगे हैं। नवंबर महीने में भारत ने पहली हाइपरसोनिक मिसाइल का परीक्षण किया।

यह भी पढ़ें:हाईकोर्ट में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से सुनवाई के नियम बदले, 3 राज्यों में होंगे लागू; जानें क्या हैं नए Rules?

Open in App
Advertisement
Tags :
Indian ArmyMade in India
Advertisement
Advertisement