खेलवीडियोधर्म
मनोरंजन | मनोरंजन.मूवी रिव्यूभोजपुरीबॉलीवुडटेलीविजनओटीटी
टेकदेश
प्रदेश | पंजाबहिमाचलहरियाणाराजस्थानमुंबईमध्य प्रदेशबिहारउत्तर प्रदेश / उत्तराखंडगुजरातछत्तीसगढ़दिल्लीझारखंड
धर्म/ज्योतिषऑटोट्रेंडिंगदुनियास्टोरीजबिजनेसहेल्थएक्सप्लेनरफैक्ट चेक ओपिनियननॉलेजनौकरीभारत एक सोचलाइफस्टाइलशिक्षासाइंस

बेटी ने बिकिनी पहनी, स्कूल ने निकाला; मां ने मुख्यमंत्री से लगाई गुहार

Transgender Girl Controversy: लड़की ट्रांसजेंडर है। उसने अपनी बिकिनी वाली फोटो सोशल मीडिया पर डाल दी तो स्कूल ने उसे स्कूल से निकाल दिया। मामला तूल पकड़ रहा है। लड़की की मां ने स्कूल के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए मुख्यमंत्री से इंसाफ की गुहार लगाई है।
09:36 AM Jul 01, 2024 IST | Khushbu Goyal
छात्रा के खिलाफ स्कूल ने मोर्चा खोल दिया है।
Advertisement

Transgender Girl Expelled From School: देश में जहां आज से कानून के दायरे में ट्रांसजेंडर भी आ गए हैं। अब उन्हें भी कानून के तहत समानता का अधिकार मिलेगा। उनके खिलाफ अपराध होने पर केस होगा, इंसाफ मिलेगा। वहीं देश के एक राज्य में ट्रांसजेंडर लड़की को स्कूल से निकाले जाने का मामला सामने आया है। ट्रांसजेंडर गर्ल ने बिकिनी पहन स्विमिंग पूल में नहाते हुए की फोटो सोशल मीडिया पर अपलोड कर दी तो स्कूल ने लड़की को बाहर का रास्ता दिखा दिया।

Advertisement

स्कूल के इस एक्शन से नाराज मां ने प्रदेश के CM हिमंत बिस्वा को खत लिखकर इंसाफ की गुहार लगाई है। बच्ची की मां ने गुवाहाटी के प्रतिष्ठित स्कूल के प्रिंसिपल पर उसकी बेटी को बदनाम करने, उसे नीचा दिखाने, मजाक उड़ाने और उसके अस्तित्व पर सवाल उठाने के आरोप लगाए हैं। वहीं मामले में स्कूल के अधिकारियों ने भी अपना स्पष्टीकरण दिया है। अधिकारियों का कहना है कि लड़की की तस्वीरें अश्लील लग रही हैं और उन्होंने पोस्ट को हटाने के लिए कहा था।

यह भी पढ़ें:नए कानून के तहत पहली FIR दर्ज, जानें किसने कराया केस और क्यों?

पीड़िता की मां ने खत में बयां किया दर्द

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, महिला ने मुख्यमंत्री बिस्वा को खत में लिखा है कि उसकी 17 साल की बेटी ट्रांसजेंडर है। उसने अपनी बिकिनी पहने हुए स्विमिंग पूल में नहाने की फोटो अपने सोशल अकाउंट पर डाली थी, लेकिन उस पोस्ट के कारण उसे स्कूला से निकाल दिया गया। अगर लड़की का जन्म पुरुष के शरीर के के साथ हुआ है तो इसमें उसकी क्या गलती? उसे यह जीवन भगवान ने दिया है।

Advertisement

उसने अपने लिए संघर्ष भरा जीवन तो नहीं चुना था। यह उसे भगवान की देन है, लेकिन उसे अपनाने की बजाय, समाज में उसे धमकाया जा रहा है। उससे नफरत की जा रही है। स्कूल में जहां बच्चों को लोगों से बर्ताव करने के तरीके सिखाए जाते हैं, वहीं उसे जज किया जा रहा है। इससे उसकी बेटी की दुर्दशा हुई है। ऐसी दुर्दशा, जो उसके जैसे कई लोगों की इस देश में हुई होगी। उसके साथ ऐसा बर्ताव क्यों?

यह भी पढ़ें:अवैध शारीरिक संबंध अपराध, गैंगरेप की सजा मौत; आज से नए क्रिमिनल लॉ लागू, 10 पॉइंट में जानें क्या-क्या बदला?

बाल अधिकार संरक्षण आयोग करेगा कार्रवाई

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, पीड़ित परिवार ने मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा से कई बदलावों की मांग की है। इनमें स्कूलों में जेंडर इंक्लूसिव यूनिफॉर्म लागू करने। पुरुष-महिला के साथ थर्ड जेंडर विविधता को अपनाने, बदमाशी और शोषण के खिलाफ कार्रवाई करने, ट्रांसजेंडर की सुरक्षा बढ़ाने तक की मांग शामिल है।

वहीं मामले की शिकायत राज्य के ट्रांसजेंडर कल्याण बोर्ड ने असम राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग (ASCPCR) को भी दी है। शिकायत में कहा गया है कि बच्चे के शरीर का मजाक उड़ाना। उसकी तस्वीर देखकर उसे जज करना, उसका यौन शोषण करना सही नहीं। आयोग के अध्यक्ष श्यामल प्रसाद सैकिया ने मामले की निंदा करते हुए कहा कि पीड़िता का पक्ष सुना है। स्कूल अधिकारियों को बुलाकर उनका पक्ष भी सुना जाएगा। इसके बाद आगे की कार्रवाई करेंगे।

यह भी पढ़ें:बाल पकड़कर घसीटा, थप्पड़ मारे और झाड़ू से पीटा; बंगाल में TMC वर्कर की महिला से बदसलूकी का वीडियो

Advertisement
Tags :
Assam NewsHimanta Biswa Sarmatransgender news
वेब स्टोरी
Advertisement
Advertisement