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International Women Day 2025: महिलाओं को संविधान से मिले हैं ये 5 अधिकार, हर महिला को जानना है जरूरी

International Women Day 2025: महिलाओं के हितों की सुरक्षा के लिए भारतीय संविधान में इनके लिए कानूनी अधिकारों का प्रावधान है। चलिए विश्व महिला दिवस 2025 के अवसर पर जानते हैं लॉ महिलाओं को कौन-कौन से अधिकार देता है, जिनके बारे में हर महिला को जानना चाहिए।
12:43 PM Mar 07, 2025 IST | Namrata Mohanty
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International Women’s Day 2025
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International Women Day 2025: आज के दौर में महिलाएं पुरुषों से किसी भी मामले में पीछे नहीं हैं। महिला हर वो काम कर सकती है, जो पुरुष करते हैं। ऑफिस हो या घर, महिलाएं अपनी जिम्मेदारियों को बखूबी निभा रही हैं। खेल हो या बिजनेस, महिला हर फील्ड में अव्वल नंबर पर है। भारत में महिलाओं को देवी माना जाता है, लेकिन इसी देश में एक समय ऐसा था कि यहां घर की देवियों को सबसे ज्यादा प्रताड़ना झेलनी पड़ती थी। मगर महिलाओं के हितों की रक्षा करने के लिए Indian Law ने उन्हें भी ऐसे कानूनों से नवाजा है, जो उनकी गरिमा की रक्षा करते हैं। अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर हम आपको अपने लेख के माध्यम से ऐसे 5 कानूनी अधिकारों के बारे में बता रहे हैं।

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इस रिपोर्ट में हम आपको भारतीय कानून में शामिल महिलाओं के अधिकारों के बारे में बता रहे हैं। महिलाओं के लिए बने कानूनों को विस्तार से समझने के लिए हमने दिल्ली हाईकोर्ट के वकील प्रियारंजन कुमार से खास बातचीत की।

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इन 5 कानूनों के बारे में हर महिला को पता होना चाहिए

1. शिक्षा का अधिकार (Right to Education)- एडवोकेट प्रियारंजन कुमार बताते हैं कि हर महिला के पास राइट टू एजुकेशन का राइट होता है। इस अधिकार के माध्यम से वे आत्मनिर्भर बनती हैं और अपने अधिकारों के बारे में भी जान पाती हैं। देश की हर महिला के पास शिक्षा का अधिकार प्राप्त है। शिक्षा का अधिकार एक मानव अधिकार है, जो महिलाओं से कोई नहीं छीन सकता है।

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2. समान वेतन(Equal Pay)- राइट टू इक्वल पे के माध्यम से हर महिला को पुरुषों के बराबर समान कार्यों को करने के लिए समान वेतन मिलेगा। यह आर्थिक समानता के प्रति एक महत्वपूर्ण कदम है। समान पारिश्रमिक अधिनियम के अनुसार, वेतन या मजदूरी का लिंग के आधार पर भेदभाव नहीं किया जा सकता है। यदि कार्य समान है, तो हर किसी को समान वेतन मिलेगा।

3. संपत्ति में अधिकार( Right to Property)- देश की हर महिला के पास यह कानूनी अधिकार प्राप्त है कि वे अपने नाम पर संपत्ति खरीद सकती हैं और इससे पैतृक संपत्ति पर भी उनका हक होता है। इसे राइट टू इनहेरिटेंस कहते हैं। महिला को अपने पति से भरण-पोषण, आर्थिक सहायता और उसकी संपत्ति में भी हिस्सा पाने का अधिकार है। साल 2005 में हुए संशोधन के अनुसार, बेटियों के पास पिता की संपत्ति का अधिकार है।

4. सुरक्षा और सम्मान का अधिकार(Right to Safety and Respect)- हर महिला के पास अपनी सेफटी का हक है, जिसके माध्यम से वे यौन उत्पीड़न, घरेलू हिंसा और शोषण से सुरक्षा का अधिकार रखती हैं। इसके लिए संविधान में कड़े से कड़े कानूनों का प्रावधान है। महिला के साथ कोई भी अपराध होने पर सख्त से सख्त सजा दी जाती है।

5. स्वस्थ और प्रजनन अधिकार(Health and Reproductive Rights)- भारत की हर महिला के पास स्वास्थ्य सेवा और प्रजनन से जुड़े मानव अधिकार प्राप्त हैं। इस अधिकार की मदद से वे चाहे कैसी भी हों, उन्हें अपने जीवन से जुड़े फैसले लेने की संपूर्ण आजादी है। इसे राइट टू हेल्थ एंड रिप्रोडक्टिव भी कहते हैं।

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Tags :
Indian lawInternational Women DayInternational Women's Day 2025Women rights
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