'टाइगर राजधानी के रूप में होगी भोपाल की पहचान', जानिए CM मोहन यादव ने क्यों कही ये बात
CM Mohan Yadav Expressed Gratitude to PM Modi: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की केंद्र सरकार द्वारा मध्य प्रदेश में 8वां 'टाइगर रिजर्व' बनाने की घोषणा की गई है, राज्य का 8वां 'टाइगर रिजर्व' रातापानी बाघ अभयारण्य में बनाया जाएगा। इसको लेकर प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने राज्य की जनता की तरह से पीएम मोदी का आभार व्यक्त किया है। सीएम मोहन यादव ने कहा कि टाइगर रिजर्व बनने से प्रदेश में पर्यटन के साथ रोजगार के मौके भी बढ़ेंगे। इस दौरान उन्होंने बताया कि इस टाइगर रिजर्व के बनने से रातापानी और मध्य प्रदेश को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान मिलेगी। साथ ही कहा कि भोपाल की पहचान टाइगर राजधानी के रूप में होगी।
मध्य प्रदेश को मिलेगी अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान
सीएम मोहन यादव ने आगे बताया कि टाइगर रिजर्व बनने से रातापानी और मध्य प्रदेश को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान मिलेगी। साथ ही टाइगर राजधानी के रूप में भोपाल की पहचान होगी। उन्होंने आगे कहा कि रातापानी टाइगर रिजर्व के कोर एरिया का रकबा 763.812 वर्ग किलोमीटर और बफर एरिया का रकबा 507.653 वर्ग किलोमीटर होगा यानी टाइगर रिजर्व का कुल रकबा 1271.465 वर्ग किलोमीटर होगा। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि एनटीसीए से राज्य के 9वें टाइगर रिजर्व माधव नेशनल पार्क के लिए भी अनुमति मिल गई है।
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राजधानी से सटा पहला टाइगर रिजर्व
इसके साथ ही सीएम मोहन यादव ने कहा कि ये किसी भी राज्य की राजधानी से सटा पहला टाइगर रिजर्व है। इस टाइगर रिजर्व के राजधानी भोपाल के पास होने से यहां न सिर्फ टूरिज्म बढ़ेगा, बल्कि स्थानीय लोगों को नए रोजगार के मौके भी मिलेंगे। इसके साथ ही इस टाइगर रिजर्व में जंगल, बाघों और बाकी जंगली जानवारों का संरक्षण भी हो पाएगा। इसके अलावा जंगली जानवारों से गांव के लोगों को भी किसी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी। इसके लिए रातापानी अभयारण्य के अंदर आने वाले गांवों को कोर क्षेत्र की जगह बफर क्षेत्र में रखा गया है। राज्य के 8वें टाइगर रिजर्व के तौर पर रातापानी बाघ अभयारण्य का नॉटिफिकेशन 2 दिसंबर को जारी की गई है।