हरियाणा के साथ क्यों नहीं हुई महाराष्ट्र चुनाव की घोषणा? CEC ने बताई ये वजह
Maharashtra Assembly Election : इलेक्शन कमीशन ऑफ इंडिया ने शुक्रवार को प्रेस क्रॉन्फ्रेंस की और जम्मू-कश्मीर एवं हरियाणा में चुनाव की तारीखों का ऐलान किया। माना जा रहा था कि हरियाणा के साथ महाराष्ट्र में भी विधानसभा चुनाव होंगे, लेकिन चुनाव आयोग ने डेट की घोषणा नहीं की। चुनाव में क्यों बदलाव हुआ? इसे लेकर मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने बड़ी वजह बताई है।
साल 2019 में हरियाणा के साथ महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव हुए थे, लेकिन इस बार ऐसा नहीं होगा। CEC राजीव कुमार ने कहा कि महाराष्ट्र में मौजूदा स्थिति को देखते हुए चुनाव बाद में कराने का फैसला लिया गया। इस वक्त राज्य में भारी बारिश हो रही है, जिससे अभी तक वोटिंग लिस्ट का कार्य पूरा नहीं हो पाया है। साथ ही आने वाले महीनों में कई प्रमुख त्योहार हैं।
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त्योहारों से भी प्रभावित हो सकती है चुनाव प्रक्रिया
चुनाव आयोग ने कहा कि एक के बाद एक कई प्रमुख त्योहार जैसे- गणेश चतुर्थी, दीपावली, पितृपक्ष आने वाले हैं, जिससे चुनाव प्रक्रिया प्रभावित हो सकती है। ऐसे में इस बार हरियाणा के साथ महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव नहीं होंगे। ECI ने आगे कहा कि विधानसभा का कार्यकाल खत्म होने के 6 महीने अंदर चुनाव हो सकते हैं। ये चुनाव आयोग का विशेषाधिकारी है।
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महाराष्ट्र चुनाव पर क्या बोले राजीव कुमार?
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने महाराष्ट्र चुनाव को लेकर कहा कि पिछली बार महाराष्ट्र और हरियाणा विधानसभा चुनाव एक साथ हुए थे। उस समय जम्मू-कश्मीर कोई फैक्टर नहीं था, लेकिन इस साल 4 चुनाव हैं और इसके तुरंत बाद 5वां चुनाव है, जिसमें जम्मू-कश्मीर, हरियाणा, महाराष्ट्र, झारखंड और दिल्ली शामिल हैं। सुरक्षा बलों की आवश्यकता के आधार पर 2 चुनाव एक साथ कराने का फैसला किया गया।