Hariyali Teej के 14 या 15 कितने दिन बाद रखा जाता है कजरी तीज का व्रत? जानें तिथि और पूजा विधि
Kajri Teej 2024: धार्मिक मान्यता के अनुसार, साल में 5 बार तीज का पर्व मनाया जाता है। आखा तीज, गणगौर तीज, हरियाली तीज, हरितालिका तीज और कजरी तीज, लेकिन यह सभी पर्व एक दूसरे से अलग हैं, जिस दिन व्रत रखने के साथ-साथ देवी-देवताओं की आराधना की जाती है।
वैदिक पंचांग के अनुसार, हरियाली तीज का आरंभ सावन माह की शुक्ल पक्ष में आने वाली तृतीया तिथि से होता है। इस दिन महिलाएं व्रत रखती हैं और अपने पति की लंबी उम्र के लिए पूजा करती हैं। वहीं कजरी तीज का पर्व भादो माह में आने वाली कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि पर मनाया जाता है। चलिए जानते हैं कि कजरी तीज का व्रत हरियाली तीज के 14 या 15, कितने दिन बाद रखा जाता है?
कजरी तीज का व्रत कब रखा जाएगा?
हिंदू पांचांग के अनुसार, इस बार भाद्रपद मास में आने वाली कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि का आरंभ 21 अगस्त को शाम 05:06 मिनट से हो रहा है, जिसका समापन 22 अगस्त को दोपहर 01:46 मिनट पर होगा। ऐसे में उदयातिथि के आधार पर साल 2024 में कजरी तीज का व्रत 22 अगस्त को रखा जाएगा, जो हरियाली तीज से 15 दिन बाद आता है।
ये भी पढ़ें- Kaalchakra Today: ‘ॐ’ से ही क्यों होती है मंत्रों की शुरुआत? पंडित सुरेश पांडेय से जानें स्वाहा का रहस्य
कजरी तीज का महत्व
कजरी तीज के दिन व्रत रखा जाता है। साथ ही भगवान शंकर और देवी पार्वती की विधिपूर्वक उपासना की जाती है। धार्मिक मान्यता के अनुसार, इस दिन पूजा करने से व्यक्ति के वैवाहिक जीवन में खुशियां बनी रहती हैं।
कजरी तीज की पूजा विधि
- कजरी तीज के दिन प्रात: काल उठें। स्नान आदि करने के बाद हरे रंग के शुद्ध कपड़े धारण करें।
- मंदिर में एक चौकी रखकर उसके ऊपर लाल रंग का कपड़ा बिछाएं। चौकी पर भगवान शिव और मां पार्वती की जोड़े में मूर्ति या तस्वीर रखकर उनकी पूजा करें।
- मां को सुहाग का सामान अर्पित करें। शिव जी को धतूरा, भांग और बेल पत्र का भोग लगाएं। इस दौरान तीज की कथा का पाठ करें।
- अंत में देवी-देवताओं की आरती करके घरवालों के बीच प्रसाद का वितरण करें।
कजरी तीज के उपाय
- कजरी तीज के दिन गौ माता की पूजा करना शुभ होता है। इससे घर-परिवार में खुशहाली बनी रहती है।
- प्रात: काल कजरी तीज के दिन गौ माता को 4 रोटी या गुड़-चना खिलाना अति शुभ होता है। इससे घरवालों का स्वास्थ्य अच्छा रहता है।
- कजरी तीज के दिन रात में चंद्र देव की पूजा करनी चाहिए। साथ ही उन्हें अर्घ्य देने से व्यक्ति को सौभाग्यवती का आशीर्वाद मिलता है।
ये भी पढ़ें- 16 अगस्त को जाग जाएगा 4 राशियों का भाग्य, बुलंदियों पर होगा किस्मत का सितारा!
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी धार्मिक और ज्योतिष शास्त्र की मान्यताओं पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।