IND vs NZ: पुणे में भारतीय बल्लेबाजों का सरेंडर, इस 'डर' से स्पिन के आगे टेक दिए घुटने
IND vs NZ: बेंगलुरु के बाद न्यूजीलैंड के खिलाफ टीम इंडिया ने पुणे में सिर्फ तीन दिन में घुटने टेक दिए। पूरे देश को उम्मीद थी कि टीम महाराष्ट्र क्रिकेट एसोसिएशन स्टेडियम में जोरदार वापसी करेगी, लेकिन ऐसा नहीं हो सका। इसके साथ ही 2012 के बाद टीम इंडिया को अपनी सरजमीं पर पहली बार टेस्ट सीरीज में हार का मुंह देखना पड़ा। बेंगलुरु में तेज गेंदबाजों को जमकर मदद मिली थी, जिसके बाद पुणे में स्पिन फ्रेंडली पिच बनाई गई। लेकिन इसका ज्यादा फायदा भारत ने नहीं बल्कि न्यूजीलैंड के गेंदबाजों ने उठाया।
तीन मैचों की सीरीज के पहले दो मैचों को देखा जाए तो यह बात निकलकर सामने आ रही है कि स्पिन के खिलाफ भारतीय टॉप ऑर्डर बल्लेबाजों पर डिसीजन रिव्यू सिस्टम (डीआरएस) और लेग बिफोर विकेट (एलबीडब्ल्यू) का डर हावी रहा है। बात करें विराट कोहली की तो वो जब भी बैटिंग करने आते हैं तो उनके पैर शायद ही लेग-स्टंप लाइन को छोड़ते हैं।
ज्यादातर भारतीय बल्लेबाज कम ही मौकों पर गेंद की लाइन में आने के लिए गेंदबाजों पर प्रैशर बनाते हैं और आखिर में गेंद को शरीर से दूर ही खेलते हैं। इससे उनकी बल्लेबाजी तकनीक पर डीआरएस का असर साफ दिख रहा है। देखा गया है कि या तो आगे या पीछे, ज्यादातर बल्लेबाजों का अगला पैर सीधे लेग स्टंप लाइन के नीचे चला जाता है।
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गेंद की लाइन तक नहीं पहुंच पाए भारतीय बल्लेबाज
यहां वो टर्न लेती बॉल को डिफेंस करने की कोशिश में अपने हाथों का इस्तेमाल करते हैं। यह तकनीक सामान्य पिच पर तो काम कर सकती है, लेकिन घूमती और टर्न लेती पिचों पर बल्लेबाज का गेंद की लाइन के करीब पहुंच पाना मुश्किल है। पुणे में भारतीय बल्लेबाजी के ढहने का एक बड़ा कारण यह भी था। पहली पारी के उलट दूसरी पारी में सलामी बल्लेबाज यशस्वी जायसवाल ने डीआरएस-एलबीडब्ल्यू को अपने दिमाग से बाहर निकालने की पूरी कोशिश की। वो यहां बार-बार गेंद की लाइन में आए और अपने अगले पैर को ज्यादातर आगे रखा।
दूसरी पारी में यशस्वी ने दिखाया दम
उन्होंने अपने डिफेंस पर भरोसा रखा और न्यूजीलैंड के गेंदबाजों की जमकर खबर ली। देखा गया कि यशस्वी की तरह अन्य भारतीय ऐसा नहीं कर पाए। दिन का चौंकाने वाला वाकया स्पिन के बेहतरीन बल्लेबाज सरफराज खान के आउट होने के बाद हुआ। वो मिचेल सेंटनर की गेंद को दूर से खेले, लेकिन गेंद टर्न लेकर स्टंप्स में चली गई। पिछले कुछ सालों में देखा गया है कि ऐसी पिचों पर टॉप ऑर्डर की बजाय भारत के लोअर ऑर्डर ने स्पिन को ज्यादातर बेहतर तकनीक से खेला है, जिसमें रवींद्र जड़ेजा, आर अश्विन और अक्षर पटेल जैसे खिलाड़ियों का नाम शामिल है।
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