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'पटरी पर लौटी जिंदगी...', आ गया SC का फैसला, IIT धनबाद में पढ़ेगा मुजफ्फरनगर का अतुल; जानें मामला

Uttar Pradesh News: उत्तर प्रदेश के गरीब छात्र के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा फैसला दिया है। छात्र समय पर फीस नहीं जमा करवा पाया था। डेडलाइन के बाद उसे दाखिले से इन्कार कर दिया गया था। अब सुप्रीम कोर्ट ने मुजफ्फरनगर के अतुल को बड़ी राहत देते हुए दाखिले के आदेश दिए हैं।
04:58 PM Sep 30, 2024 IST | Parmod chaudhary
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Muzaffarnagar News: (प्रभाकर मिश्रा, मुजफ्फरनगर) यूपी के मुजफ्फरनगर का रहने वाला अतुल अब आईआईटी धनबाद में पढ़ेगा। सुप्रीम कोर्ट ने मजदूर के बेटे को दाखिला देने के आदेश जारी किए हैं। दरअसल अतुल अपनी फीस 17500 रुपये समय पर जमा नहीं कर पाया था। जिसकी वजह से उसे IIT धनबाद में दाखिला नहीं दिया गया था। जिसके बाद मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया था। अब सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि फीस जमा करने की डेडलाइन खत्म होने पर छात्र को अधर में नहीं छोड़ा जा सकता। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि उसे आईआईटी धनबाद को दाखिला देना होगा। छात्र को छात्रावास आदि सुविधाएं भी मुहैया करवानी होंगी। कोर्ट ने साफ किया कि जो छात्र पहले आईआईटी में दाखिला ले चुके हैं, उनके ऊपर कोई असर नहीं पड़ना चाहिए। अतुल को अतिरिक्त सीट पर प्रवेश दिया जाएगा।

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CJI डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ ने फैसला सुनाया। कोर्ट ने कहा कि जो प्रतिभाशाली विद्यार्थी पहले से गरीब हैं, उनके प्रवेश को रोका नहीं जाए। बता दें कि शीर्ष न्यायालय ने पिछली सुनवाई के दौरान अतुल को मदद का भरोसा दिया था। इसके अलावा न्यायालय ने IIT मद्रास के साथ-साथ जॉइंट सीट एलोकेशन अथॉरिटी को भी नोटिस जारी किया था।

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इलेक्ट्रिकल इंजीनियर बनने का सपना

छात्र ने फीस जमा नहीं करवाने के पीछे परिवार की गरीबी का हवाला दिया था। अतुल के वकील ने दलील दी थी कि कम समय में 17500 रुपये जुटा पाना इस परिवार के लिए आसान नहीं था। अतुल मूल रूप से मुजफ्फरनगर के टोटोरा गांव का रहने वाला है। 18 साल के होनहार के पिता मजदूरी करते हैं। अतुल ने कोर्ट के आदेश पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि जो रेल पटरी से उतर गई थी, वो वापस पटरी पर आ गई। आगे मेहनत कर इलेक्ट्रिकल इंजीनियर बनने का सपना पूरा करूंगा।

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