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Sambhal Jama Masjid: एक्शन मोड में पुलिस, संभल के दोषियों को 'बेनकाब' करने के लिए बिछाई 'बिसात'

Sambhal Jama Masjid: इस मामले में सात एफआईआर में फिलहाल 6 लोगों को नामजद किया गया है, इसके अलावा करीब 2500 से ज्यादा अज्ञात लोगों को आरोपी बनाया गया है।
08:11 PM Nov 25, 2024 IST | Amit Kasana
फाइल फोटो
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Sambhal Jama Masjid: संभल में फिलहाल हालात तनावपूर्ण बने हुए हैं। सोमवार को यहां एक बार फिर कुछ देर के लिए अफरातफरी का माहौल बन गया जब शाही जामा मस्जिद के सदर जफर अली ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर सीओ पर मस्जिद के हौज से पानी निकलाने और बदसलूकी करने का आरोप लगाया।

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इसके अलावा देर शाम मुरादाबाद के कमिश्नर आञ्जनेय कुमार ने मामले में बड़ा दावा किया है। कमिश्नर के अनुसार पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में पता चला है कि हिंसा में जिन चार लोगों की मौत हुई उन्हें देसी तमंचे की गोली लगी थी। हालांकि, चारों लोगों की मौतों की मजिस्ट्रेट जांच के आदेश दिए गए हैं।

पुलिस ने रचा कानून का 'चक्रव्यूह' 

मुरादाबाद के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी सूत्रों की मानें तो मामले में पुलिस की साख दाव पर है। पुलिस ने दंगे के आरोपियों को बेनाकाब करने की पूरी तैयारी कर ली है। दरअसल, पुलिस ने इस मामले में 7 अलग-अलग एफआईआर दर्ज कर आरोपियों को कानून के 'चक्रव्यूह' में लाने की बिसात बिछाई है।

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हिंसा के दौरान हुई ड्रोन रिकॉडिंग बनेगी कोर्ट में सबूत

बता दें सात एफआईआर में फिलहाल 6 लोगों को नामजद किया गया है, इसके अलावा करीब 2500 से ज्यादा अज्ञात लोगों को आरोपी बनाया गया है। बता दें अभी तक इस मामले में 25 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है। बताया जा रहा है कि अज्ञात लोगों और पत्थरबाजी और फायरिंग करने वालों की पहचान के लिए पुलिस ने हिंसा के दौरान ड्रोन से रिकॉडिंग की है।

ऐसे आगे बढ़ रही पुलिस की जांच

हिंसाग्रस्त क्षेत्र के आसपास से करीब 500 से अधिक सीसीटीवी कैमरा की फुटेज उठाई गई है। वहीं, पूरे इलाके में से 5000 से अधिक फोन नंबरों की डिटेल खंगाली जा रही है। पुलिस ने कुछ सामाजिक संगठनों और लोगों को भी जांच के घेरे में लिया है। पुलिस के अनुसार ये घटना पूरी तरह सुनियोजित साजिश है। हिंसा से पहले और उसके दौरान किन लोगों ने दंगा भड़काने वाले मैसेज किए उनकी तलाश की जा रही है।

1 दिसंबर तक बाहरी लोगों को एंट्री नहीं

जानकारी के अनुसार पुलिस ने संभल तहसील में मंगलवार को भी इंटरनेट बंद रहने का निर्णय लिया है। इसके अलावा डीएम राजेंद्र पैंसिया ने 1 दिसंबर तक यहां बाहरी व्यक्तियों के प्रवेश पर पाबंदी लगा दी है। बता दें संभल हिंसा में पहली एफआईआर दरोगा दीपक राठी ने कराई है। जिसमें सपा सांसद और विधायक के बेटे का नाम है। इसके अलावा इसमें 800 अज्ञात लोगों को शामिल किया गया है।

अलग-अलग एफआईआर में दर्ज हिंसा की पूरी कहानी

इसके अलावा दूसरी एफआईआर दरोगा शाह फैसल ने कराई। इसमें नखास इलाके में उप्रदवियों के बाइक में आग लगाने समेत अन्य घटनाएं शामिल हैं। वहीं, तीसरी एफआईआर सीओ संभल अनूप चौधरी ने दर्ज कराई है। इसमें 800 अज्ञात हैं। चौथी एफआईआर पुलिसकर्मी जगदीश कुमार ने दर्ज कराई। इसमें मैगजीन और टीयर गैस लूटने का आरोप है। पांचवी एफआईआर एसपी के पीआरओ ने 150 अज्ञात पर दर्ज कराई। छठवीं, एफआईआर एसडीएम रमेश बाबू ने 800 अज्ञात के खिलाफ कराई है।  सातवीं एफआईआर पुलिस ने एक अन्य शिकायत के आधार पर दर्ज की है। इन एफआईआर दर्ज पुलिसकर्मियों के पैर में गोली मारने और हमला करने का भी आरोप है।

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