3000 KG बारूद...पाताल से ढूंढकर मारा हिजबुल्लाह चीफ नसरल्लाह, क्या अब बारी ईरान के सुप्रीम लीडर की?
Israel Killed Hezbollah Chief Hassan Nasrallah: इजराइल ने हिजबुल्लाह चीफ हसन नसरल्लाह को मौत के घाट उतार दिया है। शुक्रवार को इजराइली सेना ने लेबनान की राजधानी बेरूत में हिजबुल्लाह के हेडक्वार्टर पर हमला किया। जिसमें नसरल्लाह मारा गया। बताया जाता है कि नसरल्लाह करीब 50 फीट नीचे छिपा था, लेकिन इजराइल की ओर से एयरस्ट्राइक कर एक के बाद एक तीन से हमले किए गए। जिसमें नसरल्लाह, उसकी बेटी और दक्षिणी मोर्चे का कमांडर अली कराकी मारा गया।
3000 किलो बारूद का इस्तेमाल
रिपोर्ट के अनुसार, हिजबुल्लाह को मारने के लिए इजराइल ने 3000 किलो बारूद का इस्तेमाल किया। नसरल्लाह करीब 50 फीट नीचे बंकर में छिपा था। रिपोर्ट के अनुसार, इजराइल ने नसरल्लाह को खत्म करने के लिए 80 से ज्यादा बम गिराए। हमले में जीपीएस गाइडेड बमों का इस्तेमाल किया गया। इसके अलावा 2000 किलो के लेजर और जीबीयू-28, करीब 1000 किलोग्राम के ब्लू-109 बंकर बस्टर बमों को यूज किया गया। ये विस्फोटक जमीन में 200 फीट नीचे तक धंस गए। जिसका हिजबुल्लाह के पास कोई जवाब नहीं था। हिजबुल्लाह चीफ उस समय कमांडरों के साथ मीटिंग कर रहा था।
क्या अब बारी ईरान के सुप्रीम लीडर की?
इजराइल-हिजबुल्लाह के बीच चल रही जंग में ईरान की एंट्री हो चुकी है। ईरान के सुप्रीम लीडर अयातुल्लाह अली खामेनेई ने हाल ही में हिजबुल्लाह के समर्थन में बयान देकर इस जंग में आग में घी डालने का काम किया था। उन्होंने अमेरिका को भी इसके लिए जिम्मेदार बताया। बताया जा रहा है कि हिजबुल्लाह चीफ के खात्मे के बाद अली खामेनेई अंडरग्राउंड हो गए हैं। उन्हें ईरान में ही किसी सुरक्षित स्थान पर पहुंचा दिया गया है। उन्होंने शुक्रवार देर रात तेहरान में सुरक्षा परिषद के साथ बैठक की थी।
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ईरान और इजराइल में जंग क्यों?
जहां एक ओर पश्चिमी देश इजराइल के समर्थन में खड़े नजर आते हैं तो वहीं ईरान हमास और हिजबुल्लाह जैसे आतंकी समूहों का समर्थन करता नजर आता है। खास बात यह है कि ईरान और इजराइल कभी दोस्त हुआ करते थे, दोनों एक-दूसरे से हथियार भी खरीदते थे, लेकिन 1979 की क्रांति के बाद दोनों अलग हो गए। इसके बाद से ही ये देश कट्टर दुश्मन हैं।
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