Shadashtak Yoga: शुक्र-मंगल ने बनाया अशुभ योग, बढ़ेंगी 3 राशियों की चुनौतियां; धन हानि से मुहाल होगा जीना!
Shadashtak Yoga: वैदिक ज्योतिष की गणितीय गणना के अनुसार, शनिवार 4 जनवरी, 2025 से शुक्र और मंगल काल पुरुष कुंडली में पीड़ित हो गए हैं, क्योंकि शुक्र छठवें भाव में बैठ गए हैं, तो वहीं मंगल आठवें भाव में विराजमान हैं। ज्योतिष शास्त्र में छठे और आठवें भाव में महत्वपूर्ण ग्रहों का बैठना अच्छा नहीं माना गया है। शुक्र और मंगल के इन भावों में बैठने से षडाष्टक योग बन रहा है, जो विशेष परिस्थितियों को छोड़ कर कभी अच्छा नहीं माना गया है। इन दोनों ग्रहों के इन भावों में स्थित होने से ऊर्जा का टकराव लगभग सभी राशियों के लिए प्रतिकूल है। बता दें कि जब कोई 2 ग्रह एक-दूसरे से 150 डिग्री की दूरी पर आ जाते हैं, तब षडाष्टक योग बनता है।
शुक्र-मंगल के षडाष्टक योग का ज्योतिष महत्व
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शुक्र ग्रह भौतिक सुख, प्रेम, सौंदर्य और कला को बढ़ावा देने वाले ग्रह हैं। वे सुख, धन और ऐश्वर्य के स्वामी हैं, जो नरम और सौम्य ऊर्जा के प्रतीक हैं। वहीं, मंगल ग्रह साहस, शक्ति, क्रोध और जोश दिलाने वाले ग्रह हैं। इनकी ऊर्जा तीव्र और आक्रामक होती है। ज्योतिषाचार्यों के अनुसार, जब शुक्र और मंगल जैसे प्रभावशाली ग्रह षडाष्टक योग में होते हैं, तो इनकी ऊर्जा एक-दूसरे के विपरीत जाती है, जिससे संतुलन की स्थिति बनाना मुश्किल हो जाता है।
धन के मामले में यह योग कभी-कभी अनावश्यक खर्च और आर्थिक अस्थिरता का कारण बन सकता है। करियर में स्थिरता लाने के लिए व्यक्ति को अधिक मेहनत करनी पड़ती है। इस योग के कारण प्रेम संबंधों में झगड़े और असहमति हो सकती है। विवाह में तालमेल की कमी और मनमुटाव हो सकता है।
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शुक्र-मंगल के षडाष्टक योग का राशियों पर असर
शुक्र और मंगल का षडाष्टक योग एक चुनौतीपूर्ण योग है। यह योग व्यक्ति को अपनी इच्छाओं और भावनाओं को व्यक्त करने में कठिनाई पैदा कर सकता है, खासकर जब वह दूसरों के साथ तालमेल बिठाने की कोशिश करता है। अक्सर ऐसा देखा गया है कि यह योग किसी व्यक्ति के संबंधों में गहराई और संतुलन की कमी पैदा करता है। शुक्र और मंगल के अशुभ षडाष्टक योग से 3 राशियों की चुनौतियां बढ़ेंगी और धन हानि से जीना मुहाल होगा।
वृषभ राशि
वृषभ राशि पर शुक्र का स्वामित्व है। षडाष्टक योग के कारण इस राशि के जातकों को अनावश्यक खर्चों और आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। निवेश में नुकसान होने की संभावना है। अत्यधिक धन हानि हो जाने से तंगहाली का दौर शुरू हो सकता है। शुक्र और मंगल की ऊर्जा की टकराहट रिश्तों और संबंधों को बिगाड़ता है। इससे प्रेम संबंधों और दांपत्य जीवन में खटास आ सकती है। छोटी-छोटी बातों पर झगड़े हो सकते हैं। त्वचा संबंधी समस्याएं या रक्तचाप से संबंधित परेशानियां भी हो सकती हैं। आर्थिक निर्णय सोच-समझकर लें और फिजूलखर्ची से बचें।
सिंह राशि
सिंह राशि के लिए मंगलदेव एक शुभ ग्रह हैं, लेकिन षडाष्टक योग के कारण इस समय करियर में संघर्ष और अस्थिरता हो सकती है। सहकर्मियों और वरिष्ठों से विवाद होने की संभावना है। संबंधों में गलतफहमियां पैदा हो सकती हैं। परिवार और दोस्तों के साथ संबंधों में तनाव हो सकता है। अहंकार की वजह से रिश्ते खराब हो सकते हैं। अचानक और अप्रत्याशित खर्चों से आर्थिक दबाव बढ़ सकता है। सेहत से समझौता भारी पड़ सकता है। जीवन में आई तंगहाली से जीना मुहाल हो सकता है। शांति बनाए रखने के लिए नियमित ध्यान करें।
वृश्चिक राशि
शुक्र-मंगल के अशुभ योग से वृश्चिक राशि के जातकों के जीवन में भावनात्मक उथल-पुथल मच सकती है। मंगल वृश्चिक राशि का स्वामी है। इस योग के कारण जातकों को भावनात्मक तनाव का सामना करना पड़ सकता है। क्रोध और आवेग पर नियंत्रण करना मुश्किल हो सकता है। किसी धोखाधड़ी जैसे साइबर फ्रॉड से धन हानि हो सकती है। इसलिए वित्तीय मामलों में सतर्क रहें। निवेश या उधार देने में सावधानी बरतें, अन्यथा हानि हो सकती है। पेट से जुड़ी स्वास्थ्य समस्याएं परेशान करेंगी, वहीं जननांगों से संबंधित समस्याएं भी हो सकती हैं। इलाज पर बहुत खर्च हो सकता है। शांत रहने के लिए योग और प्राणायाम का अभ्यास करें।
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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष शास्त्र की मान्यताओं पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।