दो कंपनियों के मर्जर से कितनी ताकतवर बन जाएगी Ambuja Cement?
Ambuja Cement: अडानी समूह (Adani Group) सीमेंट सेक्टर के सबसे बड़े खिलाड़ी के तौर पर खुद को स्थापित करना चाहता है। इसके मद्देनजर अंबुजा सीमेंट्स में सांघी इंडस्ट्रीज (Sanghi Industries) और पेन्ना सीमेंट (Penna Cement) के मर्जर को मंजूरी दी गई है। सीमेंट सेक्टर पर फिलहाल बिड़ला समूह का कब्जा है। उसकी कंपनी अल्ट्राटेक देश की नंबर 1 सीमेंट कंपनी है।
पोर्टफोलियो का विस्तार
कुछ वक्त पहले तक अडानी समूह के पोर्टफोलियो में केवल 2 ही सीमेंट कंपनियां थीं। अंबुजा सीमेंट्स और ACC सीमेंट। लेकिन अब इसमें कुछ नए नाम भी शामिल हो गए हैं। अडानी समूह लगातार छोटी कंपनियों में बड़ी हिस्सेदारी खरीदकर उन्हें अपने पोर्टफोलियो में शामिल कर रहा है, ताकि उसकी कुल क्षमता में इजाफा हो सके।
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बड़ी हो जाएगी कंपनी
सांघी इंडस्ट्रीज और पेन्ना सीमेंट का अंबुजा सीमेंट्स में विलय अडानी समूह के लिए फायदे का सौदा रहने वाला है। इससे न केवल बाजार में अंबुजा सीमेंट्स के हाथ मजबूत होंगे, बल्कि उसे कई दूसरी तरह के लाभ भी मिलेंगे। अंबुजा सीमेंट्स ने इस वित्त वर्ष के अंत तक अपनी कुल सीमेंट उत्पादन क्षमता को 100 MTPA से अधिक तक बढ़ाने की योजना बनाई है। इस मर्जर के बाद वह अपेक्षाकृत ज्यादा बड़ी कंपनी बन जाएगी।
इस तरह मिलेंगे फायदे
इस विलय से अंबुजा सीमेंट्स की उत्पादन क्षमता बढ़ेगी और बाजार पहुंच में भी इजाफा होगा। इसके अलावा, एडमिनिस्ट्रेशन और गवर्नेंस कॉस्ट में भी बचत होगी। इससे अनुपालन आवश्यकताओं के भी सरल बनने की उम्मीद है। जब तीनों कंपनियां एक ही छतरी के नीचे होंगी, तो उन्हें चलाना और भी आसान हो जायेगा। गौतम अडानी अंबुजा सीमेंट्स को देश की सबसे बड़ी सीमेंट कंपनी बनाना चाहते हैं, इस मर्जर से कंपनी उस दिशा में एक कदम आगे बढ़ गई है।
कौन है मार्केट लीडर?
इस समय बिड़ला समूह की अल्ट्राटेक सीमेंट देश की सबसे बड़ी सीमेंट कंपनी है और 152.7 MTPA (Million Tonnes Per Annum) सीमेंट का उत्पादन कर रही है। 2024 की शुरुआत में कंपनी ने केसोराम सीमेंट का अधिग्रहण किया था। अडानी समूह इस सेक्टर में दूसरा सबसे बड़ा खिलाड़ी है। हालांकि, कुल MTPA के मामले में वह अल्ट्राटेक से पीछे है। समूह की योजना 2028 तक अपनी क्षमता बढ़ाकर 140 मिलियन टन करने की है।
2022 में हुई थी एंट्री
अडानी समूह ने 2022 में अंबुजा सीमेंट और ACC लिमिटेड का अधिग्रहण कर सीमेंट सेक्टर में प्रवेश किया था। तब से अब तक उसने इस सेक्टर पर बादशाहत के लिए कई बड़े कदम उठाए हैं। समूह छोटी कंपनियों को साथ लाकर एक शक्तिशाली कंपनी बनाने की योजना पर काम कर रहा है। ऐसे में आने वाले समय में कुछ और अधिग्रहण भी देखने को मिल सकते हैं।
आपको क्या फायदा?
आम निवेशक के नजरिये से देखें तो उसे भी इस मर्जर से फायदा हो सकता है। इस विलय का मतलब है अंबुजा सीमेंट्स का ज्यादा शक्तिशाली कंपनी बनना। इससे कंपनी के कारोबार में तेजी आएगी और उसकी आर्थिक सेहत मजबूत होने से शेयर मार्केट में उसके प्रदर्शन में भी सुधार होगा। ऐसे में कंपनी के शेयरों पर दांव लगाने वालों का प्रॉफिट भी बढ़ सकता है। इतना ही नहीं, Sanghi Industries भी मार्केट में लिस्टेड है, एक मजबूत कंपनी के साथ रिश्ता जुड़ने से भविष्य में उसके शेयर भी तेजी से भाग सकते हैं। हालांकि, आज यानी 18 दिसंबर की बात करें, तो दोनों कंपनियों के शेयर लाल निशान पर कारोबार कर रहे हैं।