whatsapp
For the best experience, open
https://mhindi.news24online.com
on your mobile browser.
Advertisement

Sanjauli Masjid पर वक्फ बोर्ड का मालिकाना हक? कोर्ट में कहा, 'चार मंजिल के निर्माण की जानकारी नहीं'

Sanjauli Mosque Case: हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला के संजौली मस्जिद मामले पर सुनवाई की गई। इस दौरान हिमाचल प्रदेश वक्फ बोर्ड ने अदालत में कहा कि संजौली कॉलोनी में मस्जिद उसकी जमीन पर बनाई गई है, हालांकि उन्होंने ये भी कहा कि 4 मंजिल किसने बनाई इसकी उनको जानकारी नहीं।
10:37 AM Sep 08, 2024 IST | Shabnaz
sanjauli masjid पर वक्फ बोर्ड का मालिकाना हक  कोर्ट में कहा   चार मंजिल के निर्माण की जानकारी नहीं

Sanjauli Mosque Case: शिमला के संजौली में बनी मस्जिद में किया गया अवैध निर्माण का मामला बढ़ता जा रहा है। इस मामले पर नगर निगम आयुक्त (MC) सुनील अत्री के कोर्ट में सुनवाई की गई। हालांकि इस केस में सुनवाई के दौरान आयुक्त सुनील अत्री ने जेई को फटकार लगाते हुए सुनवाई को 5 अक्तूबर तक के लिए टाल दिया है। इसके साथ ही वक्फ बोर्ड और जेई को स्टैटस रिपोर्ट दायर करने के आदेश भी दिए गए हैं। वक्फ बोर्ड का कहना है कि मस्जिद जिस जगह पर बनाई गई है वो उनकी है।

Advertisement

संजौली स्थानीय निवासियों का प्रतिनिधित्व कर रहे वकील जगत पाल ने कहा कहा कि उन्हें इस मुद्दे में शामिल होने के लिए मजबूर होना पड़ा क्योंकि यह पिछले 14 साल से एमसी आयुक्त की अदालत में लंबित था।

ये भी पढ़ें... 50KM रफ्तार वाला तूफान, भारी बारिश…बंगाल के लिए चेतावनी, दिल्ली समेत पूरे देश में कैसा रहेगा मौसम?

Advertisement

किसने किया 4 मंजिल का निर्माण?

हिमाचल प्रदेश वक्फ बोर्ड ने शनिवार को शिमला की एक अदालत में कहा कि संजौली कॉलोनी में मस्जिद उसकी जमीन पर है। लेकिन उन्हें इस बात की कोई जानकारी नहीं है कि बाकी की चार मंजिलों का निर्माण किसने कराया। इस दौरान यह भी कहा कि मामला मस्जिद की वैधता का नहीं है, बल्कि उसकी जमीन पर पहले से मौजूद ढांचे में जोड़ी गई 4 मंजिलों का है। इस बीच संजौली के कुछ निवासियों ने मामले में एक पक्ष के रूप में शामिल होने की मांग करते हुए एक आवेदन भी दिया। वक्फ बोर्ड और स्थानीय लोगों ने शिमला नगर निगम आयुक्त की अदालत में दलील दी। दोनों पक्षों को सुनने के बाद कोर्ट ने अगली सुनवाई 5 अक्टूबर तय की है.

Advertisement

वकील जगत पाल ने कहा कि जिस जमीन पर मस्जिद बनी है वह राज्य सरकार के राजस्व विभाग की है और वक्फ बोर्ड अतिक्रमणकारी है। उन्होंने कहा कि 'वक्फ बोर्ड स्वामित्व का कोई सबूत पेश नहीं कर पाया है। वकील ने कहा कि यह कोई सांप्रदायिक मुद्दा नहीं था, बस हम चाहते हैं कि अवैध निर्माण और मस्जिद को गिराया जाना चाहिए।'

वक्फ बोर्ड ने क्या कहा?

वक्फ बोर्ड की ओर से पेश वकील भूप सिंह ठाकुर ने कहा कि 'उन्हें पहली मंजिल के निर्माण के बारे में पता था, लेकिन इसके अलावा चार मंजिलों का निर्माण किसने कराया, इसकी उन्हें कोई जानकारी नहीं है।' वक्फ बोर्ड ने अदालत से मस्जिद को न गिराने और उसकी निर्माण योजना को मंजूरी देने की भी अपील की। वक्फ बोर्ड के स्टेट ऑफिसर कुतुबुद्दीन अहमद ने दावा किया कि जमीन वक्फ बोर्ड की है। एमसी कमिश्नर कोर्ट ने 2023 में वक्फ बोर्ड को नोटिस भेजा था और उसने पिछली सुनवाई के दौरान जवाब दाखिल किया था। उसके बाद एक और समन जारी किया गया जिसका जवाब इस सुनवाई के दौरान दाखिल किया। आपको बता दें कि इस मामले से जुड़ी यह 45वीं सुनवाई थी।

ये भी पढ़ें... पश्चिम बंगाल: रेप केस में कोर्ट का बड़ा फैसला; आरोपी को मिली मौत की सजा, नाबालिग से की थी दरिंदगी

Open in App Tags :
Advertisement
tlbr_img1 दुनिया tlbr_img2 ट्रेंडिंग tlbr_img3 मनोरंजन tlbr_img4 वीडियो