ग्वालियर के इस स्कूल में 90 साल पहले पढ़े हैं अटलजी, आज तक सहेजा है अटैंडेंस रजिस्टर
Atal Bihari Vajpayee 100th birth anniversary : Karan Mishra : पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का जन्मदिन 25 दिसंबर को है। देश भर के लोग उन्हें याद कर रहे हैं। अटल जी का व्यक्तित्व ऐसा था कि विरोधी भी उनकी तारीफ करते थे। उनके जन्मदिवस के मौके पर उस स्कूल में जबरदस्त उत्साह देखने को मिला, जहां अटल जी ने पढ़ाई की थी। आज भी यहां के छात्र और शिक्षक गौरवान्वित महसूस करते हैं।
भारत रत्न देश के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने मध्य प्रदेश के ग्वालियर स्तिथ गोरखी स्कूल में पढ़ाई की थी। इस स्कूल के जर्रे-जर्रे में अटल जी की यादें समाई हैं। यहां के शिक्षक और छात्र खुद को गौरवशाली महसूस करते हैं। यही वजह है कि यहां के शिक्षक ही नहीं छात्र भी अटल जी की कविताओं का पाठ करते है। पूर्व पीएम के स्कूल का ऐसा प्रभाव है कि छात्र कविताओं का लेखन भी करने लगे है।
तीन साल तक की थी पढ़ाई
ग्वालियर के महाराज बाड़ा स्थित गोरखी स्कूल से देश के पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न अटल बिहारी जी ने तीन साल तक पढ़ाई की थी। 1934 में अटल जी ने इस स्कूल में 6वीं कक्षा में दाखिला लिया था और साल 1938 में 8वीं क्लास तक पढ़ाई की थी। स्कूल में आज भी उस रजिस्टर को सहेज कर रखा गया है जिसमें कभी अटल जी की उपस्थिति दर्ज हुआ करती थी, तब अटल जी का रजिस्टर में उपस्थिति नंबर 101 था, यानि सौ फीसदी से भी एक ज्यादा,जो उनके व्यवहार, कार्य और कुशल राजनेता की छवि के दौरान देश दुनिया को देखने भी मिला।
अटल जी के यादों की धरोहर है ये स्कूल
इस स्कूल को देखकर हर किसी को फक्र होता है कि यहां कभी अटल जी पढ़ा करते थे। शिक्षक भी मानते हैं कि ये स्कूल अटल जी की यादों की धरोहर है। इस स्कूल की शुरुआत सुबह अटल पूजन के साथ होती है। सभी शिक्षक और छात्र अटल जी के पूजन के बाद ही गतिविधियों की शुरुआत करते है। 90 साल पहले जब अटल जी जिस कमरे पढ़ते थे उसे धरोहर बना दिया गया है।
जब अटल जी यहां पढ़ते थे तो यहां पेड़ के नीचे बैठकर कविताएं गुनगुनाते थे लेकिन आज ये स्कूल स्मार्ट बन चुका है। यहां सुबह और शाम की पाली में करीब 2 हजार से ज्यादा बच्चे पढ़ाई करते हैं। इन बच्चों का कहना है कि उन्हें फक्र होता है कि जहां अटल जी ने शिक्षा हासिल की उसी स्कूल में वे पढ़ाई कर रहे हैं। छात्रों का यह भी कहना है कि अटल का प्रभाव ऐसा है कि वे उनकी कविताओं के पाठ करने के साथ ही खुद भी कविताओं का लेखन करने लगे हैं।
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अटल जी का जन्मदिन इस स्कूल के छात्रों ने शिक्षकों के साथ धूमधाम से मनाया है। यह जन्मदिन इसलिए भी और ज्यादा खास हो जाता है क्योंकि यह अटल बिहारी वाजपेई जी का 100वां जन्मदिन है। जिसके चलते देश भर में आज अटल जी को याद किया जा रहा है।