'क्या RSS-BJP में मोहन भागवत की बात नहीं मानी जाती?' जयराम रमेश ने पूछे सवाल
Jairam Ramesh Statement On Mohan Bhagwat : देश में मंदिर मस्जिद का मुद्दा एक बार फिर तूल पकड़ रहा है। इन दिनों राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) प्रमुख मोहन भागवत का हिंदू नेता वाला बयान चर्चा में है। इस मामले में कांग्रेस की भी प्रतिक्रिया आई है। कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने एक्स पर पोस्ट कर मोहन भागवत से सवाल पूछे। उन्होंने कहा कि क्या आरएसएस-बीजेपी में उनकी बात नहीं मानी जाती है?
कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने निशाना साधते हुए कहा कि मोहन भागवत का बयान आरएसएस की खतरनाक कार्यप्रणाली को दर्शाता है। उनकी कथनी और करनी में जमीन आसमान का अंतर है। आरएसएस का काम करने का तरीका आजादी के वक्त जितना खतरनाक था, आज उससे भी अधिक है। वे जो बोलते हैं, उसका उल्टा करते हैं।
उन्होंने आगे कहा कि अगर मोहन भागवत को लगता है कि मंदिर-मस्जिद का मुद्दा उठाकर नेतागिरी करना गलत है तो उन्हें बताना चाहिए कि ऐसे नेताओं को उनका संघ संरक्षण क्यों देता है? क्या RSS-BJP में मोहन भागवत की बात नहीं मानी जाती? अगर वह सच में अपने बयान को लेकर ईमानदार हैं तो सार्वजनिक रूप से घोषित करें कि भविष्य में संघ कभी भी ऐसे नेताओं को सपोर्ट नहीं करेगा जिनके कारण समाजिक भाईचारे को खतरा पहुंचता है।
मोहन भागवत का बयान RSS की ख़तरनाक कार्यप्रणाली को दर्शाता है - उनकी कथनी और करनी में ज़मीन आसमान का अंतर है।
RSS का काम करने का तरीक़ा आज़ादी के वक्त जितना ख़तरनाक था, आज उससे भी ज़्यादा है। वे जो बोलते हैं, उसका उल्टा करते हैं।
यदि मोहन भागवत को लगता है कि मंदिर-मस्जिद का…
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) December 23, 2024
जयराम रमेश ने आगे कहा कि वे ऐसा नहीं कहेंगे, क्योंकि मंदिर-मस्जिद संघ के इशारे पर ही हो रहा है। कई मामलों में ऐसे विभाजनकारी मुद्दे को भड़काकर दंगा करवाने वालों का कनेक्शन आरएसएस से निकलता है। ये बजरंग दल, विश्व हिंदू परिषद या भाजपा से जुड़े होते हैं और संघ वकील दिलाने से लेकर मुकदमे तक में इनकी पूरी मदद करता है।
कांग्रेस नेता ने आगे कहा कि स्पष्ट है कि मोहन भागवत का बयान सिर्फ समाज को गुमराह करने के लिए है। उन्हें लगता है कि ऐसी बातों से RSS के पाप धुल जाएंगे और उनकी छवि अच्छी हो जाएगी, लेकिन उनकी वास्तविकता देश के सामने है।