पोर्श कार के मामले में पुलिस की 5 बड़ी चूक, कहीं आरोपी को बचाने की कोशिश तो नहीं?
Pune Technical Experts Crushed Case: महाराष्ट्र के पुणे में हाल ही पोर्श कार से दो तकनीकी विशेषज्ञों को कुचलने का मामला सामने आया था। आरोपों के मुताबिक नशे में धुत 17 साल के किशोर ने जान-बूझकर ये सब किया। वहीं, मामले में पुलिस की ढिलाई सामने आई है। आरोपों के मुताबिक पुलिस की ओर से आरोपी को बचाने का प्रयास किया जा रहा है। पुलिस हिरासत में आरोपी को पिज्जा-बर्गर परोसे जाने की बात भी सामने आ चुकी है।
सूत्रों के अनुसार आरोपी ने दुर्घटना से पहले शराब पी थी। इसलिए उसका मेडिकल कराने में भी देरी की गई। पुणे के कल्याणी नगर इलाके में आरोपी ने दो लोगों को कुचलकर मार डाला था। जिसके मामले में कई खामियां पुलिस ने की है। यरवदा पुलिस स्टेशन के वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक (पीआई) और सहायक पुलिस निरीक्षक (एपीआई) कई देर बाद एक्सीडेंट की जांच करने आए थे। दोनों ने कंट्रोल रूम को भी सूचित नहीं किया।
Pune Porsche Car Accident Case
There was a clash between the relatives of the accused and the media persons.#Kedarnath #RoadAccident #Pune #Porsche #PuneAccident #LoksabhElection2024 #JusticeForPuneHospitality pic.twitter.com/NREICeEkzz
— Ashish Singh (@AshishSinghKiJi) May 24, 2024
साफ तौर पर कहा जा सकता है कि डीसीपी संदीप गिल को रातभर एक्सीडेंट की सूचना नहीं दी गई। रविवार, 19 मई को लगभग 2.15 बजे हादसा हुआ था। किशोर के साथ उसके दो दोस्त भी थे। आरोपियों को भीड़ ने पुलिस को सौंपा था। हादसे के 8 घंटे बाद अगले दिन भी उसके ब्लड सैंपल नहीं लिए गए थे। क्योंकि इससे अल्कोहल का लेवल कम हो गया। कानूनन उसका मेडिकल तुरंत करवाया जाना था। वहीं, पुलिस को अगले दिन उसके ब्लैक क्लब में होने की फुटेज नहीं मिली। अगर पुलिस उसी रात क्लब जाती, तो फुटेज मिल सकती थी।
#CCTV footage shows #Speeding #Porsche car.. before hit a bike, killing two Software Engineers in #Yerwada, #Pune
The luxury car was allegedly being driven by a 17-yr old minor boy and he was allegedly drunk & driving without a licence.#RoadSafety #RoadAccident #DrunkAndDrive pic.twitter.com/9cAlmDtSqt
— Surya Reddy (@jsuryareddy) May 20, 2024
हिरासत में आरोपी को पिज्जा देने के आरोप
पुलिस स्टेशन में भी आरोपी से नरमी बरती गई। वहीं, अब एसीपी रैंक के अधिकारी को तमाम आरोपों की जांच का जिम्मा सौंपा गया है। आरोप है कि उसे हिरासत में पिज्जा दिया गया। पुणे पुलिस कमिश्नर अमितेश कुमार ने इससे साफ इनकार किया है। उन्होंने माना कि जांच में कुछ पुलिसवालों ने ढील बरती है। उनके खिलाफ कार्रवाई की बात उन्होंने कही है। कहा कि सबूत मिटाने की धारा 201 के तहत उन पर एक्शन लिया जाएगा। जितने सैंपल्स लिए गए हैं। उनकी दो जगह जांच होगी, ताकि पुलिस एक्शन पर सवाल न उठे। पुलिस को फिलहाल ब्लड रिपोर्ट नहीं मिली है।