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धड़-धड़ की आवाजें, जोरदार झटके, दहल गया दिल...पैसेंजर ने सुनाई साबरमती ट्रेन हादसे की आपबीती

Train Derailment Side Story: साबरमती एक्सप्रेस ट्रेन हादसे की आपबीती पैसेंजरों ने सुनाई है। उन्होंने जान बचने के लिए भगवान का शुक्र भी जताया। उन्होंने बताया कि कैसे ट्रेन डिरेल हुई? हादसा होते समय उन्होंने किस तरह की आवाजें सुनीं?

Sabarmati Express Train Derail

Sabarmati Express Derailment Horrible Story: साबरमती एक्सप्रेस ट्रेन के पटरी से उतरने के बाद रेलवे विभाग में हड़कंप मचा हुआ है। वाराणसी से अहमदाबाद के लिए निकली ट्रेन सुबह करीब 3 बजे पटरी से उतर गई। इंजन के साथ पीछे-पीछे बोगियां उतरती चली गईं, लेकिन बोगियां पलटी नहीं, बल्कि इंजन के रुकते ही बोगियां रुक गई।

यही वजह रही कि किसी तरह का जानी नुकसान नहीं हुआ, लेकिन पैसेंजरों में चीख पुकार मच गई थी। एक तरह से पूरी ट्रेन में भगदड़ की स्थिति बनी हुई थी। ट्रेन में करीब 1640 पैसेंजर्स थे, जिनमें से कुछ को मामूली खरोंचे लगी। रेलवे अधिकारियों ने हादसे के बारे में पैसेंजरों ने बातचीत की तो उन्होंने हादसे के समय क्या महसूस किया? ट्रेन पटरियों से किस तरह उतरी? इस बारे में बात की और अपना शक भी जताया।

 

2 पैसेंजरों ने सुनाई ट्रेन हादसे की आपबीती

ट्रेन पटरी से उतरने पर खिड़की के पास बैठे मनोज घायल हो गए। उन्होंने बताया कि जब ट्रेन पटरी से उतर रही थी तो उन्होंने आंखों से देखी। उन्होंने बताया कि वे मोबाइल देख रहे थे और बाकी पैसेंजर्स सो रहे थे। ट्रेन अचानक स्लो हो गई और पटरी से उतरती चली गई। एक अन्य पैसेंजर रामजी वर्मा ने बताया कि वे सो रहे थे, अचानक जोरदार झटका लगा और उनका दिल दहल गया। धड़-धड़ की आवाजें आ रही थीं, फिर अचानक ट्रेन रुक गई। बाहर आकर देखा तो ट्रेन पटरी से नीचे थी।

पैसेंजर चिल्ला रहे थे, बोगियों से उतर रहे थे। कुछ समझ ही नहीं आया कि क्या हुआ? बाहर इतना अंधेरा था कि यह भी पता नहीं लगा कि ट्रेन है कहां? पायलट से पूछा तो उसने बताया कि ट्रेन पटरी से उतर गई है। घबराएं नहीं, सब ठीक है। सभी पैसेंजर्स मिलकर एक दूसरे को संभालें। रामखेलावन ने बताया कि वह उस जगह रहते हैं, जहां हादसा हुआ। उन्होंने बहुत तेज और भयानक आवाज सुनी। उनकी आंख खुली और बाहर जाकर देखा तो ट्रेन पटरी से उतरी हुई थी।

 

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