'रात 3 बजे फोन आया...मेरा बड़ा भाई मुठभेड़ में शहीद हो गया', सिसकते हुए बोला जवान का भाई
Martyred CRPF Jawan Kabir Das Uikey Family Recation: 'हमे रात के 3 बजे फोन आया... उन्होंने बताया कि मेरा बड़ा भाई कबीर दास उइके मुठभेड़ में शहीद हो गया। यह सुनकर हमे अपने कानों पर विश्वास नहीं हुआ, घर में हर कोई यह सुनकर सन्न रह गया। अभी ही 15 दिन पहले वो यहां पर हमारे साथ था और हंसते हुए ड्यूटी पर वापस गया था... और अब वह नहीं है।' यह कहना है अमीर उइके का। अमीर उइके कठुआ आतंकी हमले में बलिदान हुए CRPF जवान कबीर दास उइके के छोटे भाई है। जवान कबीर दास उइके की शहादत से परिवार समेत पूरे गांव में मातम का माहौल है।
शहीद के परिवार में माता, एक भाई एवं दो बहने हैं । दोनों का विवाह हो चुका है।
भाई का नाम अमीर उइके और बहनों के नाम कविता एवं सविता है ।
शहिद के पिता का स्वर्गवास हो चुका है।शहीद की शादी 2020 में हुई थी और अभी तक कोई संतान नहीं है । pic.twitter.com/KlPmqxvagz
— Pooja Mishra (@PoojaMishr73204) June 12, 2024
उजड़ गया उइके परिवार की बहू का सुहाग
जवान की शहादत की खबर सुनने के बाद पूरा उइके परिवार छिंदवाड़ा एस ए एफ कॉलोनी में कबीर दास के ससुराल पहुंच गया। यहां उइके परिवार की बहू अपने मायके में थी, जब उसका सुहाग उजड़ गया। शहीद कबीर दास के ससुर ने बताया कि उन्होंने अपनी बेटी की शादी कबीर दास से उसकी सादगी और सरलता को देखकर की थी। दोनों की शादी साल 2020 में कोरोना काल के दौरान हुई थी। इस शादी से अभी तक इन दोनों को कोई संतान नहीं है। इतना कहते ही शहीद के ससुर फूट-फूटकर रोने लगे।
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अपने पीछे इनको छोड़ गए कबीर
शहीद कबीर दास उइके ने अपने पीछे विधवा मां, पत्नी, छोटा भाई और दो बहनों को छोड़कर गए हैं। कबीर दास की दोनों बहनों का नाम कविता और सविता है। कुछ साल पहले ही कबीर दास उइके के पिता का निधन हो गया था, जिसके बाद पूरे परिवार का पालन- पोषण खेती- किसानी से होता था। हाल ही में, जवान कबीर दास ने ग्राम पंचायत पुलपुलडोह के ग्राम मिर्जातपुर में नया घर बनवाया था।