whatsapp
For the best experience, open
https://mhindi.news24online.com
on your mobile browser.
Advertisement

Opinion: शादी से पहले साथ रहना सही? जानें क्या कहते हैं रिलेशनशिप एक्सपर्ट

Opinion: Live in Relationship: शादी से पहले पार्टनर के साथ रहना लिव इन रिलेशनशिप कहलाता है, जो सही है या नहीं? आइए इसके बारे में विस्तार से रिलेशनशिप एक्सपर्ट और लाइफ कोच डॉ अनिल सेठी से जानते हैं।
04:59 PM Dec 30, 2024 IST | Simran Singh
opinion  शादी से पहले साथ रहना सही  जानें क्या कहते हैं रिलेशनशिप एक्सपर्ट
लिव इन रिलेशनशिप राय

Opinion: Live in Relationship: आजकल हमारे देश में पश्चिमी सभ्यता का प्रभाव दिन पर दिन बढ़ता जा रहा है। इस कड़ी में लिव इन रिलेशनशिप जिसमें लड़का और लड़की शादी किए बिना ही पति पत्नी की तरह रहते हैं और वो भी बिना किसी शादी के कमिटमेंट के। दोनों ही फ्री होते हैं और कभी भी रिश्ता खत्म कर सकते हैं। समाज में कुछ लोग इस प्रथा से सहमत होंगे और कुछ बहुत खिलाफ लेकिन आज इस प्रथा का भी समाज पर गहरा प्रभाव पड़ रहा है।

Advertisement

आज के युवा समाज में डाइवोर्स के बढ़ते प्रचलन और वैवाहिक जीवन में आने वाली कठनाइयों को देखते हुए लोग शादी से भागने लगे हैं उनको शादी एक मजबूरी या बोझ जैसी लगने लगी है। पश्चिमी देशों मे शायद यह प्रयोग चल रहा है और यह वहां की सभ्यता और सेक्स को ज्यादा महत्त्व न देने की वजह से स्वीकार्य हो चुका है लेकिन भारतीय परम्परा और संस्कारों से इसका मेलजोल बैठना थोड़ा कठिन लगता है।

समाज के बदलाव के लिए समाज के लोग ही जिम्मेदार होता है। वर्षों से हमारे समाज ने बहुत से बदलाव देखे हैं और आगे भी देखेंगे। यह लिव इन भी उसी कड़ी का हिस्सा है। मेरे विचार में जो युवा अपने परिवार में माता-पिता, दादा-दादी, नाना-नानी को देखते हुए बड़े होते हैं या पति पत्नी की एक दूसरे को लेकर उम्मीदें देखते हैं तो ऐसे युवा प्रेशर देखकर शादी से डरने लगे हैं। इसलिए वो अपने आर्थिक रूप से इंडिपेंडेंट या सक्षम होने की राह देखते हैं और उसमें कई बार शादी की उम्र निकल जाती है।

Advertisement

अपनी सेक्सुअल जरूरत को पूरा करने के लिए लिव इन उनको एक आसान रास्ता लगता है लेकिन जैसे-जैसे उनका साथ रहने का समय बढ़ता रहता है, कुछ न कुछ एक्सपेक्टेशन्स बढ़ने लगता है और एक दूसरे की आदतों से पार्टनर्स के बीच में कहासुनी होने लगती है।  इसमें सबसे ज्यादा जो बात देखिए जाती है कि किसी एक पार्टनर मेल या फीमेल के अपोजिट सेक्स के फ्रेंड्स अगर ज्यादा होते हैं और उनमें नजदीकियां बढ़ने लगती हैं तो लिव इन पार्टनर्स के बीच परेशानियां बढ़ने लगती हैं।

Advertisement

हमारे संस्कार कुछ समय के लिए कमजोर लग सकते हैं लेकिन पूरी तरह से उनको भूलना या उनका विचार न आना संभव नहीं है। हमारे देश में शादी आज भी एक पवित्र बंधन है और हिंदी में तलाक या डाइवोर्स जैसा कोई शब्द है ही नहीं। इसको देखते हुए हमारी संस्कृति से उसका तालमेल मुश्किल है।

मुझे लगता है आने वाले समय में इन प्रथा के चलते शायद शादी का महत्त्व और बढ़ जाए और एक दूसरे से उम्मीदें कुछ कम हो जाए और दोनों को बराबरी का स्थान मिलने लगे। लिव इन में आने का मुख्य कारण है समाज से एक तरह से बगावत के रूप में गर्ल्स अपनी मर्जी से जिन्दगी जीने का ऐलान कर रही हैं और उसमें लड़के भी बराबरी का साथ दे रहे हैं।

इसके चलते मुझे आने वाले समय में शादी में लड़का लड़की की पसंद नापसंद, ऊंच-नीच, जाती-प्रथा का कसाव भी कम होता दिख रहा है। माता पिता या घर के बड़े जोकि शादी को नाक का सवाल बना लेते हैं वो कुछ नरम पड़ सकते हैं।

ये भी पढ़ें- ये 3 संकेत कर सकते हैं आपके रिश्ते को कमजोर, कभी न करें ये गलतियां

Open in App Tags :
Advertisement
tlbr_img1 दुनिया tlbr_img2 ट्रेंडिंग tlbr_img3 मनोरंजन tlbr_img4 वीडियो