whatsapp
For the best experience, open
https://mhindi.news24online.com
on your mobile browser.
Advertisement

Shani Dev: नवरात्रि के पहले शनिवार पर करें शनि देव की पूजा, सभी कार्यों में मिलेगी सफलता

Shani Dev Puja in Navratri 2024: वैदिक पंचांग के अनुसार, आज नवरात्रि का पांचवां और आज शनिवार दिन है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, नवरात्रि में शनिवार का होना बेहद शुभ माना जाता है। तो आज इस खबर में जानेंगे कि नवरात्रि में शनिदेव को कैसे प्रसन्न कर सकते हैं।
11:21 AM Apr 13, 2024 IST | Raghvendra Tiwari
shani dev  नवरात्रि के पहले शनिवार पर करें शनि देव की पूजा  सभी कार्यों में मिलेगी सफलता
Shani Dev

Shani Dev Puja in Navratri 2024: वैदिक ज्योतिष शास्त्र में शनि देव का विशेष स्थान प्राप्त है। साथ ही सनातन धर्म में शनि देव की पूजा का भी खास महत्व है। शनिवार के दिन शनि देव की विधि-विधान से पूजा की जाती है। मान्यता है कि जो लोग शनिवार के दिन विधि-विधान से पूजा-पाठ करते हैं उन पर शनि देव मेहरबान रहते हैं, साथ ही अपनी कृपा बनाए रखते हैं।

Advertisement

हिंदू पंचांग के अनुसार, आज चैत्र नवरात्रि का पहला शनिवार है और आज मां स्कंदमाता की पूजा की जाएगी। बता दें कि नवरात्रि में शनिदेव को प्रसन्न करने के लिए लिए ज्योतिष शास्त्र में कुछ उपाय बताए गए हैं। बता दें कि शनिवार के दिन शनि देव के 108 नामों का जाप करने के बाद जीवन की सारी परेशानियां खत्म हो जाती हैं। साथ ही सारी मनोकामनाएं भी पूर्ण होती है।

ज्योतिष शास्त्र में शनि देव को प्रसन्न करने के लिए और भी उपाय बताए गए हैं। जैसे शनिवार को पीपल के वृक्ष के पास जाकर सरसों के तेल का दीपक जलाना चाहिए। मान्यता है कि ऐसा करने से शुभ फल की प्राप्ति होती है। साथ ही शनिवार के दिन शाम के समय में शनिदेव की पूजा करें। ऐसा करने से सारी इच्छाएं पूर्ण होती हैं। तो आइए शनि देव के 108 नामों के बारे में विस्तार से जानते हैं।

Advertisement

।। जानें शनि देव के 108 नाम।।

शनैश्चर :वंद्य :विरुपाक्ष :वरिष्ठ :गरिष्ठ :वज्रांगकुशधर :
शांत :आपदुद्धर्त्र :विष्णुभक्त :वशिन् :विविधागमवेदिन् :विधिस्तुत्य :
सर्वाभीष्टप्रदायिन् :गुणाढ्य :गोचर :अविद्यामूलनाश :विद्याविद्यास्वरूपिण् :आयुष्यकारण :
शरण्य :वज्रदेह :वीर :विपत्परम्परेश :कुरूपिण् :कुत्सित :
वरेण्य :भेदास्पद स्वभाव :वैराग्यद :वीतरोगभय :कूर्मांग :गूढ़ :
सर्वेश :वैद्य :विधिरूप :विरोधाधारभूमि :विश्ववंद्य :गृध्नवाह :
सौम्य :शततूणीरधारिण् :चरस्थिरस्वभाव :अचञ्चल :नीलाञ्जननिभ :निश्चल :
सुरवन्द्य :महेश :शर्व :नीलवर्ण :नित्य :नीलाम्बरविभूषण :
सुरलोकविहारिण् :खद्योत :मंद :मंदचेष्ट :महनीयगुणात्मन् :मर्त्यपावनपद :
सुखासनोपविष्ट :सुन्दर :घन :घनरूप :घनाभरणधारिण् :नसारविलेप :

Advertisement

वरदाभयहस्त :धनदा :भक्तसंघमनोभीष्टफलद :निरामय :शनि :
स्तुत्य :धनुर्मण्डलसंस्था :कामक्रोधकर :कलत्रपुत्रशत्रुत्वकारण :परिपोषितभक्त :परभीतिहर :
कष्टौघनाशकर्त्र :पावन :क्रूर :क्रूरचेष्ट :दैन्यनाशकराय :आर्यजनगण्य :
पुष्टिद :भव्य :विशेषफलदायिन् :धीर :दिव्यदेह :दीनार्तिहरण :
मितभाषिण् :भानुपुत्र :अशेषजनवंद्य :गुणात्मन् :निंद्य :वंदनीय :
श्रेष्ठ :भानु :तामस :नीलच्छत्र :नित्य :निर्गुण :
ज्येष्ठापत्नीसमेत :भक्तिवश्य :तनुप्रकाशदेह :आर्यगणस्तुत्य :काठिन्यमानस :घननीलांबर :
वामन :स्तोत्रगम्य :धनुष्मत् :वशीकृतजनेश :पशूनांपति :खेचर :

यह भी पढ़ें- शनि देव को बेहद प्रिय हैं ये रत्न, धारण करते ही 2 राशि के लोग बन जाएंगे मालामाल! जानें नियम

यह भी पढ़ें- आज शनि देव इन राशियों पर रहेंगे मेहरबान, बनेंगे सभी बिगड़े हुए काम

डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी शास्त्रों पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है। 

Open in App Tags :
Advertisement
tlbr_img1 दुनिया tlbr_img2 ट्रेंडिंग tlbr_img3 मनोरंजन tlbr_img4 वीडियो