डाई फ्रूट में अंजीर को क्यों नहीं खाते हैं जैन? कारण जानकर हो जाएंगे शॉक
जब ड्राई फ्रूट का नाम लिया जाता है तो अंजीर इस लिस्ट में सबसे ऊपर रहता है। क्या आप जानते हैं की जैन समुदाय के लोग अंजीर नहीं खाते हैं। हालांकि इसका कारण जानकर आपको थोड़ा आश्चर्य होगा। आपको बता दें कि अंजीर में पॉलीनेशन यानी परागण के लिए Wasp (ततैया) की जरूरत होती है। फीमेल ततैया अपने अंडों को देने के लिए एक खास तरीके से अंजीर में जाती हैं। अंजीर में फंस जाने के कारण उससे बाहर नहीं निकल पाती हैं और इसी में मर जाती है।
इसके बाद अंजीर का फल ततैया के शरीर को अपने अंदर अवशोषित कर लेता है और उनमे मिलने वाले एंजाइम इसे तोड़ देते हैं। ऐसे मे इस फल के तैयार होने में एक तरह से एक जीव की मौत हुई है। मगर अब सवाल उठता है कि जैन अंजीर क्यों नहीं खाते हैं।
अंजीर क्यों नहीं खाते जैन
जैन धर्म में अहिंसा को बहुत महत्व दिया गया है। इस समुदाय का मानना सभी जीवित प्राणियों के लिए सम्मान होना जरूरी है। इस धर्म में दर्शन, अहिंसा, अन्य मनुष्यों और जानवरों को नुकसान न पहुंचाने की प्रथा है। यानी कि पौधों और सूक्ष्मजीवों सहित जीवन के सबसे छोटे रूपों को भी नुकसान नहीं पहुंचाना।
ऐसे में ये जैन धर्म के लोग इस सिद्धांत को अपने खानपान की प्रक्रिया में भी इस्तेमाल करते हैं। जैसा कि हम जानते हैं कि अंजीर के में ततैया का कुछ अंश हो सकता है। इसके साथ ही अंजीर और ततैया के रिश्ते के अलावा, अंजीर में जीवित जीव होते हैं। ये जीव बहुत छोटे होते हैं इसलिए उन्हें खुली आँखों से नहीं देखा जा सकता है, मगर वे जीवित हैं। इस कारण जैन अंजीर का सेवन नहीं करते है।
अंजीर
इस सेलिब्रिटी ने शेयर किया वीडियो
कुछ समय पहले एक्ट्रेस शेनाज ट्रेजरी ने अपने सोशल मीडिया पर एक वीडियो पोस्ट किया, जिसमें उन्होंने बताया कि जैन अजीर को अपनी डाइट में शामिल क्यों नहीं करते है। शेनाज ने अपनी पोस्ट को कैप्शन' Yeah! This is why Jains don't eat anjeer aka figs - this is the reason!' के साथ पोस्ट किया है। यहां हम इस वीडियो को शेयर कर रहे हैं।
पोस्ट में एक व्यक्ति पूरे प्रोसेस को एक्सप्लेन करता नजर आ रहा है। बता दें कि इस पोस्ट पर 688,486 लाइक्स और 3.16 करोड़ व्यूज हैं। इस पोस्ट पर हजारों लोगों ने कमेंट भी किया है।
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