Mukhtar Ansari की वो ख्वाहिश जो अधूरी रह गई, कहता था- जेल से निकलते ही जरूर पूरा करुंगा सपना
Mafia Don Mukhtar Ansari Last Wish: 19 साल से जेल में कैद डॉन मुख्तार अंसारी का माफियाराज आखिरकार खत्म हो ही गया। मुख्तार अंसारी की बीती रात जेल में मौत हो गई। अंसारी रोजे रख रहा था, लेकिन बीती रात अचानक उसका स्वास्थ्य बिगड़ा और बेहोशी की हालत में उसे रानी दुर्गावती मेडिकल कॉलेज में र्भी कराया गया, लेकिन डॉक्टर उसे बचा नहीं पाए।
डॉन के करीबी सूत्रों के अनुसार, मुख्तार अंसारी अधूरी ख्वाहिश के साथ दुनिया को छोड़ कर गया है। उसका एक सपना था, जिसे वह पूरा करना चाहता था। अकसर कहता था कि जेल से बाहर आऊंगा तो अपनी एक ख्वाहिश जरूर पूरी करुंगा। जानिए क्या थी डॉन मुख्तार अंसारी की वो ख्वाहिश, जो अधूरी रह गई?
काफिले में शामिल करनी थी एक गाड़ी
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, मुख्तार अंसारी को लग्जरी गाड़ियों का शौक था। उसके काफिले में मशहूर ब्रांड वाली लग्जरी गाड़िया, बुलेट बाइक, एंबेसडर, कारें और जिप्सी शामिल होती थीं, लेकिन मुख्तार अंसारी एक नामी ब्रांड की कार को अपने काफिले में शामिल करना चाहता था। वह इंटनेशनल ब्रांड SUV हमर को अपने काफिले की शान बनाना चाहत था। वह कैदियों को अपनी गाड़ियों के बारे में बताता था और कहता था कि जेल से बाहर निकलते ही SUV हमर गाड़ी खरीदेगा और अपने काफिले में सबसे आगे रखेगा, लेकिन अपने इस सपने को पूरा करने से पहले वह दुनिया को छोड़कर चला गया।
डॉन के काफिले में शामिल थी यह गाड़ियां
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, डॉन मुख्तार अंसारी के काफिले में मारुति जिप्सी, मारुति कार और वैन शामिल थी। इसके अलावा टाटा सफारी, फोर्ड एंडेवर, ऑडी, BMW, पजेरो स्पोर्ट, टाटा सफारी कार भी नजर आती थी। टाटा सफारी उसे इतनी पसंद थी कि एक ही रंग की 5 से 6 टाटा सफारी कारें उसके काफिले का शान बढ़ाती थी। इससे भी दिलचस्प बात यह थी कि मुख्तार अंसारी के काफिल में शामिल हर कार का नंबर 786 होता था। 1986 में जब वह सच्चिदानंद हत्याकांड में बरी हुआ था और जेल से बाहर आया था तो उसका काफिला जेल के बाहर लगा था। उस समय उसकी गाड़ियां और उनका नंबर काफी सुर्खियों में रहा था।