पाकिस्तान की शहबाज शरीफ सरकार फंसी! जानें 50 अमेरिकी सांसदों ने राष्ट्रपति बाइडेन को क्यों लिखा खत?
American MP Raised Questions on Pakistan Government (संजीव त्रिवेदी): भारत के पड़ोसी देशी पाकिस्तान की शहबाज शरीफ सरकार फंसती नजर आ रही है, क्योंकि अमेरिका के करीब 50 सांसदों में पाकिस्तान की हालात पर चिंता जताई है। पाकिस्तान में मानवाधिकारों की खराब स्थिति और राजनितिक प्रतिद्वंदियों को जबरदस्ती जेल में क़ैद रखने पर सवाल उठाते हुए अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन को लेटर लिखा है।
लेटर में कहा गया है कि फरवरी 2024 में पाकिस्तान में आम चुनाव हुए थे, लेकिन नवाज़ शरीफ की पार्टी PMLN ने यह चुनाव धांधली करके जीता। इसलिए पाकिस्तान में विरोध की आवाजों को दबाकर सत्ता की ताकत के दम पर शहबाज शरीफ की सरकार कायम है। लेटर में मांग की गई है कि जिस तरह के हालात पाकिस्तान में देखे जा रहे हैं, उन पर चिंता जताते हुए पाकिस्तान की मौजूदा सरकार के प्रति अमेरिका की सरकार अपने रुख में बदलाव लाए।
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दोनों दलों के सांसदों ने मिलकर लिखा लेटर
पाकिस्तान को लेकर राष्ट्रपति बाइडेन को खत लिखने वाले अमेरिकी सांसद रिपब्लिकन और डेमोक्रेट, दोनों दलों से हैं। उन्होंने इमरान खान को पाकिस्तान का सबसे लोकप्रिय नेता और उनकी पार्टी PTI को पिछले चुनाव का विजेता बताया है। साथ ही जेलों में बंद इमरान खान और उनके दल के दूसरे बड़े नेताओं की रिहाई की कोशिश करने की मांग भी लेटर में राष्ट्रपति बाइडेन से की है। वहीं इस पत्र ने पाकिस्तान में शहबाज शरीफ की सरकार और उसके पीछे खड़ी फ़ौज को हिलाकर रख दिया है।
सरकार की तरफ से पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने अपनी वैधता पर सवाल उठाए जाने का उचित जवाब देने की बजाय अमेरिकी सांसदों के आकलन को ही खारिज़ कर दिया है। साथ ही पाकिस्तान के जिन अख़बारों में अमेरिकी सांसदों के पत्र से जुड़ी खबर छपी है, उन्हें आदेश दिया गया है कि वे इस तरह की खबर नहीं छापें और भविष्य में भी इन खबरों से परहेज करें।
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ट्रंप के शपथ लेने के बाद बढ़ सकती मुश्किलें
लेटर में लिखा गया है कि लगातार गिरती साख और आतंकवाद को पनाह देने वाले देश की छवि के साथ पाकिस्तान के लिए अंतर्राष्ट्रीय जगत में अब किसी को धोखा देना आसान नहीं है। इस्लामबाद और देश के दूसरे हिस्सों में इमरान खान की रिहाई के लिए आंदोलन लगातार हो रहे हैं। अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पाकिस्तान की राजनितिक अस्थिरता को महसूस किया जा रहा है। पाकिस्तान Champions Trophy 2025 का मेजबान देश है। ऐसे में अमेरिकी सांसदों के आकलन के बाद इस क्रिकेट कुंभ की मेजबानी पर सवाल खड़े होना लाजिमी हैं।
अमेरिकी सांसदों ने अपनी बाइडेन सरकार से मांग की है कि पाकिस्तान में लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं की बहाली और पाकिस्तान के आम नागरिकों के मानवाधिकार की रक्षा के लिए अमेरिका प्रयास करे। अमेरिका में सरकार बदलने वाली है और यह तय है कि बेशक बाइडेर सरकार ने पाकिस्तान की कारस्तानियों पर अमेरिका ने अपना रुख कड़ा नहीं किया है, लेकिन डोनाल्ड ट्रंप द्वारा सत्ता संभालने के बाद पाकिस्तान की मुश्किलें बढ़ने वाली हैं। यह लेटर उसी ओर इशारा कर रहा है।
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